RBI Warning: आपने म्यूचुअल फंड के विज्ञापन के अंत में कई बार एक फॉर्स्ट फॉरवर्ड स्पीड में सुना होगा कि “म्यूचुअल फंड बाजार जोखिमों के अधीन हैं।” क्या आपने कभी सोचा है कि आखिर म्यूचुअल फंड बाजार जोखिमों के अधीन क्यों हैं।
आज के जमाने में निवेश के लिहाज से म्यूचुअल सबसे अच्छा विकल्प है। इसमें SIP के जरिए निवेश किया जाता है। मार्केट से लिंक्ड होने के बावजूद SIP को स्टॉक्स में सीधेतौर पर पैसा लगाने की तुलना में कम जोखिमभरा निवेश माना जाता है।
हालांकि इसमें कितना रिटर्न मिलेगा, इसकी गारंटी नहीं होती, लेकिन फाइनेंशियल एक्सपर्ट एसआईपी में 12 फीसदी का एवरेज रिटर्न मिलने की बात कहते हैं। लेकिन हाल ही में RBI ने 24 स्कीम्स को लेकर चेतावनी(RBI Warning) जारी की है।
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आइए जानते हैं, RBI ने क्या कहा…
RBI ने जारी की चेतावनी
देश के 17 म्यूचुअल फंड्स की 24 स्कीम फाइनेंशियल स्ट्रेस से जूझ रही हैं। आरबीआई की फाइनेंशियल स्टेबिलिटी रिपोर्ट के मुताबिक इन ओपन डेटेड स्कीम में निवेशकों के 1। 7 लाख करोड़ रुपए लगे हैं।
इनमें आगे नकदी संकट हो सकता है। यानी इन स्कीम में निवेशकों के धन निकालने में जोखिम की आशंका है। ऐसे में फंड हाउस को तत्काल जोखिम दूर करने के लिए कहा गया है।
आरबीआई की रिपोर्ट के मुताबिक जुलाई से सितंबर के बीच तीन माह की स्टडी में यह स्ट्रेस पाया गया।
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क्या होता है म्यूचुअल फंड?
म्यूचुअल फंड निवेश का माध्यम होता है, जो निवेशकों से धन एकत्र करता है और इक्विटी, बॉन्ड, सरकारी प्रतिभूतियों, सोना और अन्य परिसंपत्तियों में निवेश करता है।
म्यूचुअल फंड कंपनियां एसेट मैनेजमेंट कंपनियां (एएमसी) या फंड हाउस बनाती हैं, जो निवेशकों से पैसा इकट्ठा करती हैं, निवेश का प्रबंधन करती हैं और निवेशकों के लेनदेन को सक्षम बनाती हैं।
इन कारणों से म्यूचुअल फंड बाजार जोखिमों के अधीन है
बाजार में अस्थिरता
सेक्टर स्पेसिफिक रिक्स
मार्केट सेंटिमेंट
तरलता जोखिम
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