मंडला। लोग जहां एक ओर कड़ाके की ठंड से ठिठुर रहे हैं, तो वहीं दूसरी ओर मंडला के बबैहा गांव में एक ऐसा कुंड है। जिसा पानी ठंड के सीजन में भी गरम पानी रहता है।
इस कुंड की खास बता है कि इसका पानी भी चमत्कारी है, जो सभी औषधीय गुणों से युक्त है। इसी के साथ मान्यता है कि इस कुंड को भगवान परसुराम के लिए देवाधिदेव महादेव का आशीर्वाद प्राप्त है।
कुंड का पानी पीने खत्म होती हैं बीमारियां
स्थानीय लोगों का मानना है कि चिलचिलाती धूप हो या कड़ाके की ठंड। हर समय इस कुंड का पानी गरम रहता है और कुंड का पानी पीनी से सभी बीमारियां खत्म हो जाती हैं।
मंडला से 18 किलोमीटर दूर बसे बबैहा गांव में स्थित इस कुंड में डुबकी लगाने दूर-दूर से लोग पहुंचते हैं। कुंड के पानी से चर्म रोग जैसी सभी बीमारियों से छुटकारा पाते हैं।
भगवान परसुराम ने बनाया था कुंड
औषधीय गुणों से युक्त इस कुंड के संरक्षक सुरेसानन्द महाराज बतात है कि भगवान शिव ने भगवान परसुराम की पीड़ा हरने के लिए इस कुंड को उत्पन्न किया था।
हालांकि प्राकृतिक सौंदर्य से घिरा ये गरम कुंड आज भी मूलभूत सुविधाओं के लिए तरस रहा है। शासन-प्रशासन का इस ओर ध्यान नहीं है।
कुंड के चारों ओर गंदगी का अंबार
कुंड के चारों ओर गंदगी का अंबार है। यहां आने वाले पर्यटकों के लिए ना तो ठहरने की व्यावस्था है और ना ही कोई सुरक्षा व्यवस्था का इंतजाम।
गरम पानी को लेकर वैज्ञानिक तथ्यों की मानें तो कुंड के नीचे सल्फर अधिक मात्रा में है। जिसकी वजह से पानी गरम रहता है। साथ ही त्वचा संबंधी बीमारियों को दूर करता है।
लेकिन यहां पहुंचने वाले लोग सैंपू साबुन का लगातार इस्तेमाल कर रहे हैं। जिससे पानी के औषधीय तत्वों के खत्म होने और दूसरे लोगों को संक्रमित होने का भी खतरा बना हुआ है। ऐसे में अगर शासन-प्रशासन इस ओर ध्यान देता है, तो गरम कुंड को एक पर्यटन स्थल के तौर पर संवारा जा सकता है।
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