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SC on BLO Workload: SIR के दौरान बूथ लेवल ऑफिसर्स (BLOs) पर बढ़ते कार्यभार, आत्महत्या की घटनाओं और FIR की धमकियों को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने मंगलवार को गंभीर चिंता जताई है। कोर्ट ने साफ निर्देश दिया कि सर्दियों की छुट्टियों से पहले इस मामले की सुनवाई पूरी करने का लक्ष्य रखा गया है। Supreme Court on BLO Workload को लेकर यह सुनवाई आज दोपहर 3 बजे तक जारी रही, और बाकी सभी मामलों को स्थगित कर दिया गया। BLO Suicide Case
SC ने कहा—BLOs पर दबाव असहनीय
मुख्य न्यायाधीश (CJI) ने सुनवाई के दौरान राज्य सरकारों को निर्देश दिया कि BLOs पर बढ़ते दबाव को देखते हुए तुरंत अतिरिक्त स्टाफ तैनात किया जाए और कार्यभार को समान रूप से बांटा जाए। BLO Death Case
CJI ने कहा कि—
जिन कर्मचारियों पर अत्यधिक दबाव है, उनका डिप्लॉयमेंट बदला जाए
स्वास्थ्य, गर्भावस्था, पारिवारिक परिस्थितियों में कर्मचारियों की मांग केस-टू-केस आधार पर सुनी जाए
स्टाफ संख्या पर कोई सीमा नहीं — राज्य जरूरत के अनुसार पर्याप्त कर्मचारी तैनात करें
SC बोला—‘10 फॉर्म भी कठिन हो सकते हैं!’
ECI की ओर से तर्क दिया गया कि एक BLO को 30 दिनों में अधिकतम 1200 फॉर्म भरने होते हैं, जो अतिरिक्त बोझ नहीं है। SIR Case News
इस पर CJI ने सवाल किया— “क्या 10 फॉर्म भी रोज़ भरना बोझ नहीं हो सकता?”
इसके जवाब में कपिल सिब्बल ने कहा—
BLOs को प्रतिदिन 40 फॉर्म तक भरने पड़ते हैं
बहुमंजिला इमारतों में जाकर जानकारी जुटाना बहुत चुनौतीपूर्ण
यह जमीनी हकीकत है, जिसे नज़रअंदाज नहीं किया जा सकता
याचिका: SIR के दौरान 35–40 BLO की मौतें, 50 FIR, 24–48 घंटे की डेडलाइन
तमिलनाडु और कई राज्यों की याचिकाओं में कहा गया:
SIR के दौरान 35–40 BLOs की मौत
उत्तर प्रदेश में 50 FIR दर्ज
BLOs को 24–48 घंटे में काम पूरा करने के नोटिस
सुबह स्कूल में पढ़ाना, रात 3 बजे तक दस्तावेज अपलोड
कमजोर नेटवर्क, बिना WiFi के इलाकों में मुश्किल
एक BLO को शादी की छुट्टी नहीं मिली, उसने आत्महत्या कर ली
अधिवक्ताओं ने कहा— “ये शिक्षक और आंगनवाड़ी कर्मचारी हैं, क्या इनसे ऐसा व्यवहार किया जा सकता है?”
SC ने राज्यों को कड़े निर्देश—दलाल, डर और दबाव खत्म करो
अदालत ने अपने अंतरिम आदेश में कहा:
तत्काल अतिरिक्त स्टाफ तैनात करें
दबाव में काम कर रहे BLOs को तुरंत राहत दें
किसी एक कर्मचारी पर अत्यधिक बोझ न पड़े
राज्य पुलिस की मनमानी नोटिस प्रक्रिया को नियंत्रित करें
ECI ने बताया कि 91% फॉर्म डिजिटाइज हो चुके हैं और प्रक्रिया तेजी से आगे बढ़ रही है, लेकिन इसके बावजूद कोर्ट ने ब्लॉक लेवल पर दबाव कम करने पर जोर दिया।
मुआवजा मामले पर SC—परिवार अलग आवेदन दें
BLOs की मौत के मामलों में मुआवजे की मांग पर कोर्ट ने कहा:
प्रभावित परिवार व्यक्तिगत आवेदन देकर राहत मांग सकते हैं
कोर्ट हर आवेदन पर अलग से निर्णय करेगा
2027 UP Election Argument भी उठा
सिब्बल ने कहा:
“UP में चुनाव 2027 में हैं, तो दो महीनों में SIR करने की क्या जल्दबाजी?”
BLOs को जेल भेजने की धमकियां मिल रही हैं
डिजिटाइजेशन 91–95% पूरा होने का दावा सत्यापित होना चाहिए
Meerut Hospitals Guidelines: मरीज निजी अस्पताल से दवाई खरीदने के लिए बाध्य नहीं- सरकार, 13 नए नियम लागू
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मेरठ में स्वास्थ्य सेवाओं की गुणवत्ता सुधारने और निजी अस्पतालों में बढ़ रही अनियमितताओं को रोकने के लिए मुख्य चिकित्सा अधिकारी (CMO) डॉ. अशोक कटारिया ने बुधवार को 13 बिंदुओं पर सख्त दिशा-निर्देश जारी किए हैं। पूरी खबर पढ़ने के लिए क्लिक करें
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