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हाइलाइट्स
- पासपोर्ट सेवा की आड़ में ISI एजेंट बना कैराना का नोमान इलाही
- पानीपत से गिरफ्तार, नोमान के घर से बरामद हुए आठ फर्जी पासपोर्ट
- 'ऑपरेशन सिंदूर' में सेना की जानकारी पाकिस्तान भेजता था नोमान
Pakistani Spy Panipat: उत्तर प्रदेश के कैराना कस्बे से एक चौंकाने वाला मामला सामने आया है। जहां पासपोर्ट बनवाने के बहाने लोगों की सेवा करने वाला युवक पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी ISI का एजेंट निकला। मोहल्ला बेगमपुरा निवासी नोमान इलाही को हरियाणा पुलिस ने पानीपत से गिरफ्तार किया। अब यह मामला राष्ट्रीय सुरक्षा एजेंसियों के लिए बड़ी चिंता का विषय बन चुका है।
नोमान पहले बेरोजगार था और अपने पिता अहसान के साथ पासपोर्ट व दस्तावेज संबंधी सेवाएं देता था। पिता की मौत के बाद उसने यह काम पूरी तरह संभाल लिया। इसी दौरान वह ISI एजेंट इकबाल काना के संपर्क में आया और पैसों के लालच में पाकिस्तान के लिए जासूसी करने लगा।
पानीपत में सिक्योरिटी गार्ड बनकर छिपा
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आरोपी नोमान पानीपत में सुरक्षा गार्ड की नौकरी कर रहा था[/caption]
नोमान पिछले चार महीने से पानीपत में अपनी बहन जीनत के घर रह रहा था और एक फैक्टरी में सुरक्षा गार्ड की नौकरी कर रहा था। हरियाणा पुलिस की खुफिया टीम ने उसे यहीं से गिरफ्तार किया और बाद में उसे यूपी पुलिस के हवाले कर दिया।
फर्जी पासपोर्ट और संवेदनशील सूचनाएं
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आरोपी नोमान के घर से 8 संदिग्ध पासपोर्ट बरामद[/caption]
पानीपत क्राइम इन्वेस्टिगेशन टीम ने जब नोमान को लेकर कैराना में उसके घर पर छापा मारा तो वहां से आठ संदिग्ध पासपोर्ट बरामद किए गए। नोमान जन सुविधा केंद्रों के जरिए फर्जी दस्तावेज तैयार करता था और सऊदी, पाकिस्तान व अन्य देशों में जाने वाले लोगों के दस्तावेज बनवाने में भी शामिल था।
चार बार पाकिस्तान की यात्रा?
नोमान वर्ष 2017 से पहले चार बार पाकिस्तान जा चुका है। वहां उसकी बुआ और मौसी रहती हैं, लेकिन एजेंसियों को शक है कि इन यात्राओं की आड़ में वह ISI हैंडलरों से सीधा संपर्क करता रहा है।
‘ऑपरेशन सिंदूर’ के दौरान रहा सबसे ज्यादा सक्रिय
नोमान ने पूछताछ में खुलासा किया कि 'ऑपरेशन सिंदूर' के समय वह सबसे ज्यादा सक्रिय था। उसने सेना की गतिविधियों और संवेदनशील ठिकानों की जानकारी मोबाइल व सोशल मीडिया के जरिए पाकिस्तान भेजी।
परिवार पर भी छाया शक का साया
ISI एजेंट इकबाल काना के भतीजे याहिया ने कहा कि उसके ताया (इकबाल) 30 साल पहले पाकिस्तान चले गए थे, लेकिन आज भी पूरा परिवार शक के घेरे में रहता है। “हम उसका चेहरा तक नहीं पहचानते, फिर भी हमसे पूछताछ होती है।
यूपी से सबसे ज्यादा कनेक्शन
एजेंसियों की मानें तो ISI नेटवर्क में सबसे ज्यादा युवक यूपी, खासकर शामली और कैराना क्षेत्र से जुड़े हैं। इसके तार दिल्ली, देहरादून और हरियाणा तक फैले हैं। इस नेटवर्क में फेरीवाले, जन सेवा केंद्र चलाने वाले और निजी नौकरी करने वाले युवक शामिल हैं।
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