मुंबई। Maharashtra News:महाराष्ट्र की एकनाथ शिंदे और उनके गुट के 16 विधायकों की आयोग्यता को चुनौती देने वाले फैसले पर बुधवार को विधानसभा स्पीकर ने अपना फैसला सुनाया।
विधानसभा में शिंदे गुट को शिवसेना के 55 में से 37 विधायकों का समर्थन था। इस आधार पर स्पीकर ने शिंदे गुट को ही असली शिवसेना माना है। बता दें कि इससे पहले चुनाव आयोग भी यह फैसला दे चुका है।
शिवसेना के असली नेता एकनाथ शिंदे
इस दौरान विधानसभा स्पीकर राहुल नार्वेकर ने सभी 16 शिवसेना विधायकों को अयोग्य ठहराने से इनकार किया। स्पीकर बोले अयोग्य ठहराने का कोई पुख्ता आधार नहीं है। एकनाथ शिंदे ही शिवसेना के असली नेता है।
भरत गोगावले की नियुक्ति वैध थी
स्पीकर ने 1200 पन्नों के फैसले सुनाते हुए कहा कि भरत गोगावले की व्हिप भी नियमों के मुताबिक थी। जब चीफ व्हिप नियुक्त ऐसे समय पर हुई थी जब पार्टी का विभाजन हो चुका था। उन्होंने कहा कि चुनाव आयोग पहले ही इस मामले में अपना फैसला शिंदे गुट के पक्ष में सुना चुका है। ऐसे में चीफ व्हिप के रूप में भरत गोगावले की नियुक्ति वैध है।
शिंदे गुट के विधायकों में छाई खुशी
स्पीकर के फैसला सुनाते ही शिंदे गुट के विधायकों के चेहरे पर खुशी छा गई। सांसद राहुल शेवाले ने फैसले पर खुशी जताई है।
स्पीकर ने कहा- शिवसेना संविधान के अनुसार पक्ष प्रमुख अकेले किसी को भी पार्टी से नहीं निकाल सकते। शिंदे को विधायक दल के नेता पद से हटाने का फैसला उद्धव का था, पार्टी का नहीं। अगर किसी पदाधिकारी को हटाना है तो इसके लिए राष्ट्रीय कार्यकारिणी और प्रतिनिधि सभा का बहुमत जरूरी है।
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