Advertisment

S-400 Sudarshan: भारत के 'सुदर्शन चक्र' ने पाकिस्तान के हमले को किया नाकाम, जानिए S-400 को क्यों मिला यह नाम?

S-400 Sudarshan: 7-8 मई की रात पाकिस्तान ने भारत के 15 शहरों पर मिसाइल और ड्रोन हमला करने की कोशिश की, लेकिन भारत के S-400 एयर डिफेंस सिस्टम 'सुदर्शन' ने उसे नाकाम कर दिया। जानिए क्यों इसे श्रीकृष्ण के दिव्य अस्त्र 'सुदर्शन चक्र' से जोड़ा गया है।

author-image
Shashank Kumar
S-400 Sudarshan

S-400 Sudarshan

S-400 Sudarshan: भारत-पाकिस्तान के बीच हालिया तनाव ने अब युद्ध का रूप ले लिया है। पहलगाम आतंकी हमले के जवाब में भारतीय सेना ने 'ऑपरेशन सिंदूर' के तहत पाकिस्तान और POK में आतंकी ठिकानों पर सटीक मिसाइल स्ट्राइक की थी। 

Advertisment

इसी के जवाब में पाकिस्तान ने 7 और 8 मई की रात भारत के 15 शहरों जैसे श्रीनगर, जम्मू, पठानकोट, लुधियाना, बठिंडा और भुज पर मिसाइल और ड्रोन से हमला करने की कोशिश की। लेकिन, भारत की वायु सुरक्षा प्रणाली S-400 'सुदर्शन' ने इन सभी हमलों को विफल कर दिया। 

क्यों S-400 को मिला 'सुदर्शन' नाम? 

भारत ने अपने एयर डिफेंस सिस्टम S-400 को ‘सुदर्शन’ (S-400 Sudarshan) नाम दिया है, जो हिंदू धर्म के सबसे शक्तिशाली अस्त्रों में से एक 'सुदर्शन चक्र' से प्रेरित है। यह नाम न सिर्फ भारत की सैन्य शक्ति को दर्शाता है, बल्कि सांस्कृतिक और आध्यात्मिक गौरव को भी जोड़ता है। जिस तरह सुदर्शन चक्र शत्रु का नाश कर स्वामी के पास लौट आता था, उसी तरह S-400 दुश्मन के हमले को रोकने में सक्षम है। 

पौराणिक काल में कितना शक्तिशाली था सुदर्शन चक्र? 

[caption id="attachment_812892" align="alignnone" width="1136"]Sudarshan Chakra Sudarshan Chakra[/caption]

Advertisment

पुराणों के अनुसार, सुदर्शन चक्र त्रिदेवों के गुरु बृहस्पति द्वारा भगवान विष्णु को भेंट किया गया था। महाभारत के अनुसार, श्रीकृष्ण ने इस चक्र का प्रयोग कई बार किया, जिसमें सबसे प्रसिद्ध घटना शिशुपाल वध है। यह चक्र इतना तीव्र और बुद्धिमान था कि दुश्मन को पहचान कर उसका नाश कर देता था और वापस लौट आता था। इसका नियंत्रण पूरी तरह से चलाने वाले योद्धा के हाथ में रहता था। 

कैसे बना सुदर्शन चक्र? 

पौराणिक मान्यताओं के अनुसार, जब विश्वकर्मा की बेटी संज्ञा सूर्य की अत्यधिक गर्मी से परेशान हुईं, तब विश्वकर्मा ने सूर्य का तेज कम किया। उस तेज से बची दिव्य ऊर्जा से उन्होंने तीन दिव्य वस्तुएं बनाई: पुष्पक विमान, भगवान शिव का त्रिशूल और भगवान विष्णु का सुदर्शन चक्र। यही चक्र आज भारत के S-400 सिस्टम का प्रतीक बना है। 

शिव की भक्ति और विष्णु को मिला था चक्र  

एक अन्य कथा के अनुसार, असुरों के आतंक से परेशान देवताओं ने भगवान विष्णु से रक्षा की गुहार लगाई। भगवान विष्णु शिव की तपस्या में लीन हो गए और वर्षों तक एक हजार कमल के फूल चढ़ाकर शिवजी को प्रसन्न किया। शिव ने प्रसन्न होकर उन्हें अजेय शस्त्र 'सुदर्शन चक्र' प्रदान किया, जिससे वे असुरों का नाश कर सके। 

Advertisment

ये भी पढ़ें:  Pakistan Reaction on Operation Sindoor: ऑपरेशन सिंदूर पर पाकिस्तान की प्रतिक्रिया, भारत को दी गीदड़ भभकी, जानें क्या कहा

कैसा है आधुनिक भारत का 'सुदर्शन चक्र' S-400?  

S-400 एक मल्टी-लेयर एयर डिफेंस सिस्टम है जो मिसाइल, ड्रोन और जेट्स को 400 किलोमीटर की दूरी से ही पहचानकर नष्ट कर सकता है। यह रूस से खरीदी गई तकनीक है जिसे भारत ने अपनी ज़रूरतों के हिसाब से विकसित किया है। इसमें लक्ष्य की पहचान, ट्रैकिंग और इंटरसेप्शन की क्षमता इतनी तीव्र है कि यह किसी भी हमले को हवा में ही नष्ट कर देता है। 

भारत का यह निर्णय कि वह अपने आधुनिक सैन्य उपकरणों को पौराणिक नाम दे, यह दर्शाता है कि देश आज भी अपनी सांस्कृतिक जड़ों से जुड़ा हुआ है। S-400 को 'सुदर्शन' नाम देकर भारत ने दुनिया को संदेश दिया है कि उसकी रक्षा न सिर्फ तकनीक से है, बल्कि आस्था और परंपरा से भी जुड़ी है। 

Advertisment

ये भी पढ़ें:  Operation Sindoor के बाद दिखी सियासी एकता: मोदी बोले- ये होना ही था.. ये नया भारत है; तो खड़गे ने कहा- हम सरकार के साथ..

Indian Air Force India Pakistan War s 400 air defence system Operation Sindoor PoK Strike S-400 Sudarshan Sudarshan Chakra Krishna Astra 7 May Attack Pakistan Drone Attack Mythology and Defence भारत पाकिस्तान युद्ध श्रीकृष्ण सुदर्शन चक्र भारतीय वायु रक्षा प्रणाली
Advertisment
WhatsApp Icon चैनल से जुड़ें