CG Raja-Rani Mahal Dispute News: छत्तीसगढ़ के सक्ती रियासत में 100 करोड़ रुपए से अधिक की संपत्ति को लेकर शुरू हुआ विवाद अब खतरनाक मोड़ ले चुका है। राजा सुरेंद्र बहादुर और रानी गीता राणा सिंह के बीच पहले से ही दत्तक पुत्र के राजतिलक को लेकर तनातनी थी, लेकिन अब इस आंतरिक कलह को भूमाफिया और रसूखदार हवा दे रहे हैं। महल की बेशकीमती संपत्तियों पर कब्जे की नीयत से साजिशों की बिसात बिछाई जा रही है।
राजतिलक के बाद बढ़ा तनाव
रियासत में उस समय उबाल आया जब राजा सुरेंद्र बहादुर ने दत्तक पुत्र का राजतिलक कर दिया, जिसके बाद रानी नाराज होकर नेपाल लौट गई थीं। वर्षों तक महल से दूर रहने के बाद जब वह हाईकोर्ट के आदेश पर महल लौटीं तो उनका प्रवेश एक बड़े विवाद में बदल गया। आरोप है कि रानी के साथ आए लोगों ने महल में मारपीट और तोड़फोड़ की।
पीला महल और सफेद महल के संबंधों पर उठे सवाल
अब पीला महल में हुए खूनी संघर्ष के बाद सफेद महल की भूमिका को लेकर चर्चाएं तेज हो गई हैं। दोनों महलों के बीच लंबे समय से मतभेद हैं। रियासत के जानकारों का मानना है कि भूमाफिया ने संपत्ति को हथियाने की बड़ी साजिश रची है और राजपरिवार के बीच फूट डालकर पूरा नियंत्रण अपने हाथ में लेने की कोशिश की जा रही है।
राजा सुरेंद्र बहादुर ने रानी के खिलाफ की थी शिकायत
मृत्यु से कुछ समय पहले राजा सुरेंद्र बहादुर सिंह ने एसपी को पत्र लिखकर रानी गीता सिंह के व्यवहार पर गंभीर आपत्ति जताई थी। उन्होंने लिखा था कि रानी बगैर अनुमति महल में रहने लगी हैं, नौकरों और कर्मचारियों के साथ दुर्व्यवहार कर रही हैं और मानसिक रूप से असंतुलित हैं। उन्होंने यह भी चेतावनी दी थी कि रानी की उपस्थिति से कोई भी अप्रिय घटना हो सकती है।
25 जून की घटना बनी विवाद का केंद्र
25 जून को रानी गीता सिंह जब महल में प्रवेश कर रही थीं, तभी अमंक जोशी, राजकुमार अग्रवाल और राजेश शर्मा जैसे लोगों के साथ महल में घुसकर तोड़फोड़ की गई और मारपीट हुई। इस घटना ने पूरे विवाद को नई दिशा दे दी। अब पुलिस यह जांच कर रही है कि यह केवल पारिवारिक विवाद है या इसके पीछे बड़ी साजिश काम कर रही है।
संपत्ति विवाद में शामिल हो सकते हैं रसूखदार
सूत्रों के मुताबिक, इस मामले में शहर के कई प्रभावशाली लोग और भूमाफिया सक्रिय रूप से शामिल हो सकते हैं। उनका मकसद रियासत की संपत्ति पर कब्जा करना है। महल के वफादारों ने आशंका जताई है कि यह साजिश अब महल की सीमाओं से बाहर निकलकर पूरे क्षेत्र को प्रभावित कर सकती है।
छत्तीसगढ़ की सक्ती रियासत में राजपरिवार का आंतरिक विवाद अब एक व्यापक षड्यंत्र का रूप लेता जा रहा है। भूमाफिया, रसूखदार और राजनीतिक प्रभाव से जुड़ी शक्तियों के इस खेल में अब केवल संपत्ति ही नहीं, बल्कि एक ऐतिहासिक विरासत भी दांव पर लगी है। आने वाले दिनों में यह मामला और भी बड़ा हो सकता है।