National Family Health Survey : केंन्द्र की मोदी सरकार देश के हर शहर, गांव और कौने-कौने तक टॉयलेट पहुंचाने का अभियान चला रही है। हर घर शौचालय अभियान के अनुसार देश के करीब 90 फीसदी घरों में टॉयलेट बन चुके है। ऐसे में लोगों को अब बाहर से ज्यादा घरों में ही शैच करने लगे है। हाल ही में एक नेशनल फैमिली हेथ्थ सर्वे (National Family Health Survey) में एक बड़ा खुलासा हुआ हैं। जिसके अनुसार देश में जैन समाज एक ऐसा समाज है जिनके घरों में सबसे ज्याद टॉयलेट बने होते है। जबकि दूसरे धर्मों के घरों में टॉयलेट के आंकड़े कम है।
आपको बता दें कि जैन समाज के करीब 96 फीसदी घरों में शैचालय होते है। टॉयलेट के मामले जैन समाज सबसे आगे है।
2011 की जनगणना के अनुसार भारत में जैन समाज के लोगों की कुल जनसंख्या 4,451,753 है जोकि भारत की जनसंख्या का 0.4 फीसदी है।
जैन समाज के बाद सिख समाज दूसरे स्थान पर है। सिख समाज के 97.5 घरों में टॉयलेट होते है। वही तीसरे स्थान पर ईसाई समाज और चौथे नंबर पर मुस्लिम समाज है।
वही हिंदुओं की बात करें तो हिंदूओं के 80.7 फीसदी घरों में टॉयलेट हैं तो वही बौद्ध धर्म के घरों में टॉयलेट की सुविधा उपलब्ध है।