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MPPSC प्रारंभिक परीक्षा 2025: 16 फरवरी को 1.18 लाख कैंडिडेट्स देंगे परीक्षा, इंदौर में सबसे ज्यादा एग्जाम सेंटर

MPPSC Exam Date: MPPSC की प्रारंभिक परीक्षा (2025) 16 फरवरी को प्रदेश के 52 जिलों में आयोजित की जाएगी। 1.18 लाख कैंडिडेट्स देंगे परीक्षा, इंदौर में सबसे ज्यादा एग्जाम सेंटर

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BP Shrivastava
MPPSC Exam Date

MPPSC Exam Date: मध्यप्रदेश लोक सेवा आयोग (MPPSC) ने राज्य सेवा की प्रारंभिक परीक्षा 2025 की तैयारियां करीब पूरी कर ली हैं। यह परीक्षा 16 फरवरी को प्रदेश के सभी 52 जिलों में आयोजित की जाएगी। जिसमें 1 लाख 18 हजार कैंडिडेट्स शामिल होंगे। इसकी मुख्य परीक्षा (मेन्स) जून में प्रस्तावित है और इंटरव्यू भी इसी साल कराए जाने की योजना है।

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पद बढ़े, इस बार 158 पोस्ट के लिए परीक्षा

इस बार MPPSC परीक्षा 158 पदों के लिए आयोजित की जा रही है। पिछले वर्ष (2024) में 110 पदों के लिए परीक्षा हुई थी, जिसमें 1 लाख 84 हजार आवेदन आए थे, लेकिन परीक्षा में 1 लाख 32 हजार कैडिडेट्स शामिल हुए थे।

इंदौर में सबसे ज्यादा 71 एग्जाम सेंटर

MPPSC इंदौर के ओएसडी डॉ. आर. पंचभाई ने बताया कि परीक्षा के लिए प्रदेशभर में सभी तैयारियां पूरी कर ली गई हैं। इंदौर में सबसे ज्यादा 71 परीक्षा केंद्र बनाए गए हैं, जिनमें प्रमुख सरकारी कॉलेज जैसे होलकर साइंस कॉलेज और अटल बिहारी कॉलेज शामिल हैं।
इंदौर में 25,700 अभ्यर्थी परीक्षा देंगे।

परीक्षा दो पालियों में होगी

  • पहली पाली: सुबह 10:00 से 12:00 बजे तक
  • दूसरी पाली: दोपहर 12:15 से 4:15 बजे तक
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दिसंबर तक फाइनल रिजल्ट होंगे घोषित

डॉ. पंचभाई के अनुसार, आयोग इस साल दिसंबर तक राज्य सेवा परीक्षा 2023, 2024 और 2025 के अंतिम चयन परिणाम घोषित करने की योजना बना रहा है।

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नकल रोकने की भी तैयारी

MPPSC परीक्षा में नकल रोकने के लिए उड़न दस्ते गठित किए गए हैं। जो अलग-अलग केंद्रों पर जाकर निगरानी करेंगे। साथ ही, प्रश्नपत्र की गोपनीयता बनाए रखने और गलतियों को रोकने के लिए भी विशेष सतर्कता बरती जाएगी।

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MP News: हाईकोर्ट ने संविदा शिक्षक के पक्ष में सुनाया ऐतिहासिक फैसला, 10 साल का वेतन ब्याज सहित देने का आदेश

MP High Court News: इंदौर हाईकोर्ट की खंडपीठ ने एक संविदा शिक्षिका के मामले में महत्वपूर्ण फैसला सुनाया है। मामले में एक महिला संविदा शिक्षिका को अनुपस्थिति के आधार पर नौकरी से हटा दिया गया था। हाईकोर्ट ने इस फैसले को मनमाना बताते हुए शिक्षिका को 10 साल का 50% वेतन, 6% ब्याज और नौकरी पर बहाल करने का आदेश दिया है। शिक्षिका अरुणा सहाय को वर्ष 2015 में 86 दिन अनुपस्थित रहने के आरोप में नौकरी से हटा दिया गया था। हालांकि, इन 86 दिनों में शनिवार, रविवार, राष्ट्रीय अवकाश और त्योहारों के दिन भी शामिल थे। पूरी खबर पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें...

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