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MP Weather Update
MP Weather Update: मध्यप्रदेश से मानसून की विदाई हो चुकी है, लेकिन बीच-बीच में बारिश होती रहेगी। सर्दी लगातार बढ़ रही है। भोपाल- इंदौर समेत कई जिलों में अगले तीन दिन पारे में गिरावट आएगी।
सोमवार, 13 अक्टूबर को सिंगरौली, सीधी, शहडोल, उमरिया, अनूपपुर, डिंडौरी, मंडला, बालाघाट, जबलपुर, छिंदवाड़ा और पांढुर्णा से भी मानसून विदा हो गया। साल 2025 में 3 महीने 28 दिन मानसून एक्टिव रहा। 16 जून को प्रदेश में मानसून ने दस्तक दी थी।
हवा का रुख बदला, बढ़ी ठंडक
सीनियर मौसम वैज्ञानिक डॉ. दिव्या ई. सुरेंद्रन ने बताया कि प्रदेश के दक्षिणी जिलों में हल्की बारिश की संभावना बनी हुई है। मंगलवार को मौसम साफ रहेगा, लेकिन इसके बाद कुछ स्थानों पर बूंदाबांदी हो सकती है। इस बीच, प्रदेश में रातें ठंडी होने लगी हैं। हवा का रुख बदलने के कारण तापमान में गिरावट दर्ज की जा रही है।
दरअसल, जम्मू-कश्मीर, हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड के ऊंचाई वाले इलाकों में बर्फबारी हो रही है। इसके चलते उत्तर दिशा से ठंडी हवाएं चल रही हैं, जो मध्यप्रदेश के मौसम में ठंडक बढ़ा रही हैं।
रविवार और सोमवार की रात प्रदेश के ज्यादातर शहरों में न्यूनतम तापमान 20 डिग्री सेल्सियस से नीचे दर्ज किया गया। इंदौर और राजगढ़ में 14.6 डिग्री, भोपाल में 15.8 डिग्री, उज्जैन में 17.3 डिग्री, ग्वालियर में 21.3 डिग्री और जबलपुर में 18.5 डिग्री सेल्सियस तापमान रहा।
इसी तरह बैतूल में 17.2, धार में 16.9, गुना में 18.6, नर्मदापुरम में 18.9, खंडवा में 16.4, खरगोन में 17, पचमढ़ी में 17.8, रतलाम में 17.2, शिवपुरी में 18, छिंदवाड़ा में 16.8, नौगांव में 15.3 और टीकमगढ़, रीवा तथा सागर में 18 डिग्री सेल्सियस तापमान दर्ज किया गया।
गुना में सबसे अधिक बारिश, शाजापुर में सबसे कम
इस बार सबसे ज्यादा बारिश गुना जिले में दर्ज की गई है, जहां कुल 65.6 इंच पानी गिरा। इसके बाद मंडला और रायसेन में 62 इंच से अधिक तथा श्योपुर और अशोकनगर में 56 इंच से ज्यादा बारिश हुई। वहीं, सबसे कम बारिश वाले जिलों में शाजापुर, खरगोन, खंडवा, बड़वानी और धार शामिल हैं। शाजापुर में 28.9 इंच, खरगोन में 29.6 इंच, खंडवा में 32 इंच, बड़वानी में 33.5 इंच और धार में 33.6 इंच बारिश दर्ज की गई।
इंदौर संभाग की स्थिति में सुधार
मानसून की शुरुआत में इंदौर और उज्जैन संभाग में बारिश बेहद कम हुई थी, और इंदौर प्रदेश का सबसे सूखा जिला बन गया था। लेकिन सितंबर में तेज बारिश से तस्वीर बदल गई। इंदौर जिले में अब सामान्य बारिश का कोटा पूरा हो चुका है, जबकि संभाग के बाकी जिलों में भी स्थिति सामान्य हो गई है। हालांकि, उज्जैन जिले में अब भी कोटा पूरा नहीं हो सका है और शाजापुर सबसे कम बारिश वाला जिला बना हुआ है।
ग्वालियर-चंबल, सागर संभाग में अच्छी बारिश
मानसून के प्रवेश के बाद से ही प्रदेश के पूर्वी हिस्सों -जबलपुर, रीवा, सागर और शहडोल संभाग में लगातार तेज बारिश होती रही। यहां कई बार स्ट्रॉन्ग सिस्टम सक्रिय रहे, जिससे छतरपुर, मंडला, टीकमगढ़ और उमरिया जैसे जिलों में बाढ़ की स्थिति बन गई। वहीं, ग्वालियर-चंबल संभाग के सभी आठ जिलों-ग्वालियर, शिवपुरी, गुना, अशोकनगर, भिंड, मुरैना, दतिया और श्योपुर में भी कोटे से ज्यादा बारिश दर्ज की गई है।
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