विदिशा। एक विवाह ऐसा भी…, जिसे देख वर-वधू को हर किसी ने जीवनभर खुश रहने की दुआएं दीं। अब तक लोगों ने सिर्फ फिल्मों और कहानियों में ही इस तरह के विवाह के बारे में देखा या सुना होगा। लेकिन हम जिस विवाह के बारे में बता रहे हैं वह मध्य प्रदेश के विदिशा जिले में संपन्न हुआ। यहां इस विवाह के बारे में जिसने भी सुना वह वर-वधू को जीवनभर खुश रहने की दुआएं दे रहा है।
दरअशल विदिशा जिले मे स्थित गायत्री परिवार के मंदिर में विवाह की रस्में पूरी की गईं। जिसमें दूल्हा वीर सिंह रघुवंशी और दुल्हन सरोज कुशवाहा ने सात फेरे लिए। इस जोड़ी की खास बात यह है कि दोनों ने ही एक-दूसरे को पसंद किया। इमलावदा गांव निवासी दूल्हा वीर सिंह रघुवंशी ने शारीरिक रूप से पूर्ण स्वस्थ होते हुए भी दिव्यांग सरोज कुशवाहा से विवाह किया और जीवन भर सरोज का साथ निभाने का वचन दिया।
बता दें कि शादी के पहले वीर सिंह रघुवंशी और सरोज कुशवाहा की मुलाकात हो चुकी है। जिसमें दोनों ने ही एक-दूसरे को पसंद किया और शादी के लिए तैयार हुए। मंदिर के पुजारी प्रेम नारायण ने कहा कि उन्होंने पहली बार इस तरह के विवार को संपन्न कराया है। उन्होंने एक दिव्यांग के जीवन को सुधारने के लिए युवक की तारीफ की।
शादी की सारी रस्में दूल्हा व दुल्हन के परिवार और की सहमति से संपन्न हुईं। दूल्हे का कहना है कि उसने अपनी मर्जी से यह विवाह किया है। पत्नी की दिव्यांगता से उसे किसी तरह की परेशानी नहीं है। वीर सिंह ने कहा कि सभी लोगों को अपनी सोच में इस तरह का बदलाव लाने की जरूरत है।