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Mithun Chakraborty: मिथुन चक्रवर्ती को मिला दादा साहब फाल्के अवॉर्ड, जानें उन्होंने भावुक होकर क्या कहा

Mithun Chakraborty: 70वें नेशनल फिल्म अवॉर्ड्स में मिथुन चक्रवर्ती को दादा साहब फाल्के अवॉर्ड मिला। जानें उन्होंने भावुक होकर क्या कहा।

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Rahul Garhwal
Mithun Chakraborty received Dadasaheb Phalke Award 70th National Film Awards hindi news

Mithun Chakraborty: 70वें नेशनल फिल्म अवॉर्ड्स के दौरान मिथुन चक्रवर्ती को दादा साहब फाल्के अवॉर्ड से सम्मानित किया गया। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने उन्हें अवॉर्ड दिया। मिथुन चक्रवर्ती ने 350 से ज्यादा फिल्मों में काम किया है और अपनी एक्टिंग से लोगों के दिल में जगह बनाई।

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https://twitter.com/MIB_India/status/1843647123163947479

मिथुन चक्रवर्ती ने खुशी जताई

दादा साहब फाल्के अवॉर्ड मिलने पर मिथुन चक्रवर्ती (Mithun Chakraborty) ने खुशी जताई। उन्होंने कहा कि अभी तक इसे स्वीकार नहीं कर पाया हूं, अभी तक उसी खुमार में हूं लेकिन इतनी बड़ी इज्जत, थैंक यू बोल सकता हूं भगवान को। जितनी तकलीफें उठाई भगवान ने शायद मुझे सूद के साथ उसे वापस कर दीं।

'नेशनल अवॉर्ड म‍िलने के बाद दिमाग खराब हो गया था'

मिथुन चक्रवर्ती ने कहा कि डायलॉग देते तो पढ़ देता, स्‍पीच देने को बोला है, क्‍या बोलूंगा कुछ समझ नहीं आ रहा है। बस इतना ही कहूंगा कि इस मंच पर मैं पहले तीन बार आ चुका हूं आप लोगों की दुआ से। लेकिन सबसे पहली बार जब मिला था नेशनल अवॉर्ड तो उसके इतने किस्‍से हैं कि मैंने क‍िसी को नहीं बताए हैं।

जब वो मिला तो लोग कहने लगे कि अरे आपको नेशनल अवॉर्ड मिला। तो मेरा दिमाग खराब हो गया कि मैंने कुछ बड़ा कर दिया। नेशनल अवॉर्ड म‍िलने के बाद दिमाग तो खराब हो गया था। मैं खुद को अल पचीनो समझने लगा। मैं डायरेक्‍टर-प्रोड्यूसर के ऑफिस में जाकर उबासी लेने लगा था। मैं कहता था कि फिल्‍म की स्‍टोरी मेरे घर भेज देना। फिर एक प्रोड्यूसर ने मुझे मारा एक लात और बोला कि निकल यहां से। फिर समझ में आया कि अब कोई काम नहीं देगा।

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मुझे एक्‍टर तो सबने बाद में मान लिया। लेकिन मेरे रंग के कारण लोगों ने मुझे खूब ताने मारे। लोग राह चलते मुझे कालिया बुलाते थे। मैंने सोचा कि रंग तो बदल नहीं सकता। मैंने भगवान से कहा कि भगवान रंग तो नहीं बदल सकता। तो मैंने डांस करना शुरू किया, अपने पैरों को रुकने नहीं दिया। लोग मेरे रंग को भूल गए और मैं बन गया से*सी, डस्‍की, बंगाली बाबू।

'भगवान ने मुझे सूद समेत सब वापस कर दिया'

मिथुन ने कहा कि मैं भगवान से बहुत श‍िकायत करता था कि तुमने नाम दी, शोहरत दी पर इतनी तकलीफ क्‍यों दे रहा है। क्‍योंकि मुझे सब मिला तो नहीं कुछ भी थाली में परोसकर नहीं मिला। लेकिन आज इस अवॉर्ड के मिलने के बाद मैंने श‍िकायत करना छोड़ दिया। थैंक यू भोलेनाथ। कोलकाता में मेरा एक पुराना मंदिर है। कितने साल मैंने उस मंदिर की सेवा की। मैंने उनको थैंक यू कहा, क्‍योंकि भगवान आपने मुझे सूद के साथ सब वापस कर द‍िया।

यंग टैलेंट को मिथुन दा का संदेश

यंग टैलेंट के लिए मिथुन चक्रवर्ती ने कहा कि आज के यंग लड़के आ रहे हैं, उनके लिए कहना चाहूंगा कि यंग टैलेंट बहुत हैं, लेकिन उनके पास पैसों की कमी है। जैसे मेरे साथ था। मैं कहूंगा कि तुम हिम्‍मत मत हारना, सपना खूब देखना। खुद सो जाना पर सपने को सोने नहीं देना। क्‍योंकि अगर मैं बन सकता हूं तो सब बन सकते हैं।

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अवॉर्ड की घोषणा पर मिथुन ने क्या कहा था ?

दादा साहब फाल्के अवॉर्ड देने की घोषणा पर मिथुन चक्रवर्ती ने खुशी जताई थी। उन्होंने कहा था कि कभी सोचा भी नहीं था कि फुटपाथ से निकला एक लड़का इतना बड़ा सम्मान प्राप्त कर सकता है। उन्होंने कहा था कि एक ऐसा व्यक्ति जो सचमुच कुछ नहीं था, जिसका कोई नाम नहीं था, उसने यह सब हासिल किया। मैं हमेशा अपने फैन्स और आर्थिक रूप से कमजोर लोगों से यही कहता हूं, अगर मैं यह मुकाम बना सकता हूं तो आप भी कर सकते हैं।

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