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काम में लापरवाही पर CS के तीखे तेवर: मैदानी अफसरों को चेतावनी, जिला स्तर की शिकायतें प्रदेश स्तर पर आईं तो होगी कार्रवाई

Madhya Pradesh Chief Secretary Anurag Jain Update: मध्य प्रदेश राज्य सरकार अब उन अधिकारियों और कर्मचारियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करेगी जो जानबूझकर आम जनता

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Aman jain
Madhya Pradesh CS Anurag Jain Action Samadhan Online CM mohan

MP CS Anurag Jain Action

MP CS Anurag Jain Action: मध्य प्रदेश राज्य सरकार अब उन अधिकारियों और कर्मचारियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करेगी जो जानबूझकर आम जनता की शिकायतों के निराकरण में लापरवाही बरतते हैं या उन्हें लंबित रखते हैं।

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ऐसे अधिकारियों की सेवाएं समाप्त की जा सकती हैं। प्रदेश के मुख्य सचिव अनुराग जैन ने सोमवार को 'समाधान ऑनलाइन' कार्यक्रम के दौरान यह निर्देश जारी किए।

उन्होंने स्पष्ट किया कि जिन शिकायतों का निवारण तहसील और जिला स्तर पर संभव है। यदि वे प्रदेश स्तर पर पहुंचती हैं, तो संबंधित अधिकारियों और कर्मचारियों पर कठोर कार्रवाई की जाएगी।

यह कदम यह सुनिश्चित करने के लिए उठाया गया है कि जनसमस्याओं का त्वरित समाधान हो और नागरिकों को राहत मिल सके।

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इन अधिकारियों को नोटिस जारी

सिंगरौली के ऊर्जा विभाग के अधीक्षण यंत्री आरपी मिश्रा को एक उद्योगपति द्वारा बिजली कनेक्शन के लिए जमा की गई अग्रिम राशि वापस नहीं मिलने और एक साल तक परेशान करने के बाद प्रदेश स्तर पर शिकायत करने के लिए मजबूर होने पर चेतावनी नोटिस जारी किया गया है।

वहीं, ग्वालियर में हैंडपंप में जलस्तर घटने के कारण पाइप बढ़ाने की समस्या का समाधान न करने पर पीएचई के अधीक्षण यंत्री रोशन बघेल को भी चेतावनी नोटिस जारी की गई।

मुख्यमंत्री सचिवालय ने कहा कि ये दोनों मुद्दे जिला स्तर पर ही हल किए जा सकते थे, लेकिन जानबूझकर लापरवाही बरतने के कारण इन मामलों ने ऑनलाइन स्तर तक पहुंचने का मार्ग लिया।

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CS ने जताई नाराजगी

मुख्य सचिव (सीएस) ने 10 जिलों में छोटी समस्याओं के समाधान में हुई देरी पर कड़ी नाराजगी व्यक्त की और संबंधित अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई की।

ये जिले उमरिया, शिवपुरी, धार, सिंगरौली, नीमच, राजगढ़, पन्ना, खरगोन, रतलाम और ग्वालियर शामिल हैं। सीएस ने इन जिलों के शिकायतकर्ताओं से वर्चुअली संवाद किया और कलेक्टरों को सख्त कदम उठाने के निर्देश दिए।

शिवपुरी में शिकायतकर्ता विक्रम सिंह सोलंकी के गेहूं भुगतान को लंबित रखने वाले बाबू के खिलाफ कार्रवाई करने के आदेश दिए गए।

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सीएस ने दिए निर्देश

आपको बता दें कि उमरिया के बहोरी सिंह को पोर्टल में एंट्री सही नहीं होने के कारण जमीन के पट्टे के लिए 1 साल तक इंतजार करना पड़ा। इस पर सीएस ने कलेक्टर और ट्राइबल विभाग को मामले की जांच करने के आदेश दिए।

धार जिले में एक आवेदक को दिव्यांगता प्रमाण पत्र देने में देरी करने पर स्वास्थ्य विभाग के लिपिक को सस्पेंड कर दिया गया। नीमच के खुशाल पाटीदार को लंबित भुगतान रोकने पर ओरिएंटल इंश्योरेंस कंपनी को अपने कामकाज में सुधार करने और 15 दिन के भीतर भुगतान करने के निर्देश दिए गए।

राजगढ़ के विष्णु शर्मा को नल कनेक्शन देने में देरी करने पर मुख्य नगर पालिका अधिकारी की वेतन वृद्धि रोकने और जुर्माना लगाने के आदेश दिए गए।

पन्ना में धान उपार्जन के लिए राशि का भुगतान न होने पर सीएस ने कलेक्टर और पुलिस अधीक्षक से 15 दिन के भीतर इस मामले का निराकरण करने को कहा है।

खरगोन के विक्रम सोलंकी को प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि में विलंब से भुगतान करने के लिए दोषी पटवारी को निलंबित कर दिया गया। रतलाम में कंकू बाई की दूसरी डिलीवरी की राशि में देरी करने पर एएनएम को निलंबित कर दिया गया।

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इन जिलों के अधिकारियों की हुई सराहना

मुख्य सचिव ने सीहोर और विदिशा जिलों में बेहतर काम की सराहना की और कहा कि जिन अधिकारियों और कर्मचारियों ने शिकायतों का संतुष्टिपूर्वक समाधान किया है, उन्हें शासन की ओर से सम्मानित किया जाएगा।

इसके साथ ही सीएस ने कलेक्टरों को निर्देश दिए कि शिकायतों के समाधान की झूठी रिपोर्टिंग करने वाले अधिकारियों और कर्मचारियों के खिलाफ तुरंत सख्त कार्रवाई की जाए।

इसके अलावा सीएम हेल्पलाइन पर शिकायतों को बिना समाधान के बंद करने वाले अधिकारियों पर भी कड़ी कार्रवाई की जाएगी।

ये अधिकारी हुए शामिल

इस बैठक में सभी विभागों के अतिरिक्त मुख्य सचिव (एसीएस) और प्रमुख सचिवों के साथ-साथ जिलों के कलेक्टर और पुलिस अधीक्षकों (एसपी) ने भाग लिया। सीहोर और विदिशा में बेहतर कार्य के लिए सराहना की गई।

वहीं, उमरिया, शिवपुरी, धार, सिंगरौली, नीमच, राजगढ़, पन्ना, खरगोन, रतलाम, और ग्वालियर जैसे 10 जिलों में लंबित शिकायतों के समाधान के लिए कड़े निर्देश जारी किए गए।

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