Korba CG News: छत्तीसगढ़ के कोरबा में हाथियों ने जमकर उत्पात मचाया है। इन हाथियों ने कई किसानों की फसलों को नष्ट कर दिया और फिर गांव में प्रवेश कर गए। ग्रामीणों ने उन्हें भगाने की कोशिश की, लेकिन वे सफल नहीं हो सके। इसके बाद, ग्रामीणों ने वन विभाग के खिलाफ NH-130B पर प्रदर्शन और नारेबाजी की।
एक साथ 48 हाथियों का दल मौजूद
ग्रामीणों की मांग है कि वन्य जीवों के कारण हो रहे नुकसान के लिए मुआवजा राशि बढ़ाई जाए। जानकारी के अनुसार, एक साथ 48 हाथियों का दल मौजूद है, जिनकी चिंघाड़ आसपास के गांवों में सुनाई दे रही है, जिससे ग्रामीणों में दहशत का माहौल है। यह हाथियों का दल बड़काबहरा गांव के पास के जंगलों और खेतों में घूम रहा है।
पूरा जंगल हाथियों की चिंघाड़ से गूंज रहा है। हाथियों की आवाज सुनकर बड़ी संख्या में ग्रामीण मौके पर पहुंचे और उन्हें खदेड़ने की कोशिश की। हाथियों की मौजूदगी की जानकारी मिलते ही वन विभाग की टीम भी वहां पहुंची और निगरानी कर रही है।
हाथियों के नजदीक न जाने की सलाह
आसपास के गांवों में मुनादी करके लोगों को सलाह दी जा रही है कि वे हाथियों के नजदीक न जाएं। इसके बावजूद, ग्रामीण हाथियों के पास जाकर उनकी फोटो और वीडियो बना रहे हैं। ग्रामीणों का आरोप है कि हाथियों को खदेड़ने के लिए वन विभाग के प्रयास पर्याप्त नहीं हैं।
पूर्व जनपद सदस्य वीरेंद्र मरकाम ने बताया कि धान फसल के नुकसान पर कम मुआवजा दिया जा रहा है। प्रभावित गांवों में कोई उचित व्यवस्था नहीं है, और प्रशासन अभी तक इस समस्या को लेकर गंभीर नहीं हुआ है। उन्होंने कहा कि हाथी कभी भी हमला कर सकते हैं, और लेमरू ऐलिफेंट रिजर्व के नाम पर केवल खानापूर्ति की जा रही है। प्रदर्शन करना उनके लिए मजबूरी बन गया है।