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नई दिल्ली: केंद्र के नए कृषि कानूनों के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे किसान शनिवरा, 30 जनवरी को महात्मा गंधी की पुण्यतिथि पर सद्भावना दिवस के रुप में मनाएंगे और पूरा दिन उपवास रखेंगे। सिंघु बॉर्डर पर देर शाम प्रेस कांफ्रेंस आयोजित हुई थी जिसमें किसान नेताओं ने इसका ऐलान किया।
किसान एकता मोर्चा के नेताओं ने कहा कि, ‘हम देशवासियों से अपील करते हैं कि वे 30 जनवरी को हमारे अनशन में शामिल हों’ 30 जनवरी को ‘सद्भावना दिवस’ के रूप में मनाया जाएगा, हमारे सभी नेता सुबह 9 बजे से शाम 5 बजे तक उपवास करेंगे।
किसान नेता ने की इंटरनेट सेवा बहाल करने की मांग
किसान नेता दर्शनपाल सिंह ने सिंघु बॉर्डर पर इंटरनेट सेवा बहाल करने की मां की है। इसके साथ ही प्रेस कॉंफ्रेंस के दौरान किसान नेताओं ने केंद्र सरकार और सत्तारूढ़ बीजेपी के खिलाफ निशाना साधते हुए कहा- हम सरकार से मांग करते हैं कि इंटरनेट सेवा बहाल की जाए, उन्होंने आगे कहा कि हमारी बातें लोगों तक नहीं पहुंच सके इसके लिए इंटरनेट बंद किया गया है।
किसान यूनियन के नेता युधिष्ठिर ने कहा कि हमें लेक्टर की जरूरत नहीं
प्रेस-कॉंफ्रेस के दौरान भारतीय किसान यूनियन के नेता युधिष्ठिर सिंह ने कहा कि- हमें इन (बीजेपी) के लोगों से राष्ट्रीय ध्वज का सम्मान करने पर लेक्चर की जरूरत नहीं है। आगे किसान नेता युधिष्ठिर बोले कि यहां बैठे ज्यादातर किसानों के बच्चे बॉर्डर पर देश के लिए लड़ रहे हैं। सरकार की तरफ से किसानों के आंदोलन को दबाने की कोशिश ने इसे और तेज कर दिया है क्योंकि गुरुवार रात की घटना के बाद से और अधिक लोग आंदोलन में शामिल हुए हैं।