जबलपुर। आपने किस्से-कहानियों में कई ऐसे दैवीय स्थानों के बारे में सुना होगा जहां भगवान के चमत्कार की बात की जाती है। इसी कड़ी में आज हम आपको जबलपुर के महाकाली मंदिर की कहानी बताएंगे। जहां मंदिर में स्थापित महाकाली की मूर्ति को गर्मी लगती है और उन्हें पसीना भी आता है। कहते हैं कि इस चमत्कार को देखकर हर कोई आश्चर्यचकित रह जाता है।
मंदिर के AC को बंद नहीं किया जाता
मंदिर के पुजारी के अनुसार जरा से गर्मी बढ़ने पर काली माता की मूर्ति से पसीने निकलने शुरू हो जाते हैं। इसलिए कभी भी मंदिर के AC को बंद नहीं किया जाता है। लेकिन कभी-कभी एसी बंद होने के बाद अभी भी मूर्ति से पसीने टपकने लगते हैं।
ऐसी है मान्यता
जबलपुर के सदर में स्थित प्राचीन काली मंदिर गोंड शासनकाल के समय की है। मंदिर की भव्यता और नक्कासी को देखकर कोई भी हैरान रह जाता है। यहां माता के चमत्कार के दर्शन करने के लोग दूर-दूर से आते हैं। नवरात्रों पर यहां भक्तों का जमावड़ा लगता है। माना जाता है कि जो भक्त सच्चे मन से माता के दर्शन करता है उसकी सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं।
मूर्ति को कहीं और स्थापित करना था
बताया जाता है कि पहले काली माता (Kali Mata) की मूर्ति को मदनमहल किले के आस-पास स्थापित करने की योजना बनाई गई थी। इस मूर्ति को बैलगाड़ी पर रखकर जबलपुर लाया जा रहा था, लेकिन बैलगाड़ी के सदर बाजार के नजदीक पहुंचते ही अचानक बैलगाड़ी के पहिए जाम हो गए। बहुत कोशिशें करने के बावजूद बैलगाड़ी आगे नहीं बढ़ाई जा सकी। तब माता की मूर्ति को उताकर वृक्ष के नीचे रख दिया गया था और आज इसी जगह पर काली मंदिर स्थित है।