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Income Tax Raid on Trishul Construction: राजधानी भोपाल के तीन प्रमुख बिल्डर्स और कंस्ट्रक्शन कंपनियों पर आयकर विभाग की छापेमारी में बड़े खुलासे हो रहे हैं। जांच अभी जारी है, और अधिकारियों का कहना है कि पूरी स्थिति साफ होने में दो से तीन दिन और लग सकते हैं।
बिल्डर का करीबी भागते दिखा CCTV फुटेज में
जांच के दौरान यह पता चला कि त्रिशूल कंस्ट्रक्शन (Trishul Construction) से जुड़े कारोबारी विश्वनाथ साहू, जिनका छापेमारी (Income Tax Raid) में नाम सामने आया है, रेड पड़ते ही घर से चड्डी-बनियान में भाग गए।
कड़ाके की ठंड में सुबह-सुबह घर से भागने की घटना उनके घर के सीसीटीवी कैमरों में कैद हो गई। हालांकि, ये फुटेज सार्वजनिक नहीं किए गए हैं। साहू तब से गायब हैं, और आयकर अधिकारी उनके लौटने का इंतजार कर रहे हैं।
त्रिशूल कंस्ट्रक्शन और राजेश शर्मा की भूमिका
जांच में यह भी सामने आया है कि साहू, त्रिशूल कंस्ट्रक्शन के संचालक राजेश शर्मा के करीबी सहयोगी हैं और वित्तीय लेन-देन की जिम्मेदारी संभालते हैं। साहू की खुद की भी एक कंपनी है, और वह जमीन के कारोबार में सक्रिय हैं। आयकर विभाग ने राजेश शर्मा और अन्य ब्रोकर्स के घरों और कार्यालयों पर छापेमारी के दौरान कई संदिग्ध दस्तावेज और लेन-देन के सबूत जब्त किए हैं।
बेनामी संपत्तियों की जांच की ओर बढ़ा आयकर विभाग
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त्रिशूल कंस्ट्रक्शन के मालिक राजेश शर्मा के खिलाफ जांच अब बेनामी संपत्तियों और टैक्स चोरी की ओर बढ़ रही है। आयकर अधिकारियों को कुछ संपत्तियों के लेन-देन में गड़बड़ी के संकेत मिले हैं।
अधिकारियों का मानना है कि साहू की गिरफ्तारी से टैक्स चोरी के पूरे रैकेट का खुलासा हो सकता है। इसके अलावा, राजेश शर्मा और उनके सहयोगियों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की संभावनाएं बढ़ रही हैं।
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अधिकारियों का बयान
आयकर विभाग (Income Tax Raid) के अनुसार, 'जांच पूरी होने के बाद टैक्स चोरी और बेनामी संपत्तियों की पूरी जानकारी सार्वजनिक की जाएगी। फिलहाल हम इस मामले में अधिक डेटा इकट्ठा कर रहे हैं।'
आयकर छापेमारी के परिणाम
- संदिग्ध दस्तावेज: कई वित्तीय दस्तावेज जब्त किए गए हैं।
- बेनामी संपत्तियां: कुछ संपत्तियों के फर्जी मालिकों का पता चला है।
- अघोषित आय: बड़ी मात्रा में अघोषित संपत्ति और आय का खुलासा होने की संभावना है।
त्रिशूल कंस्ट्रक्शन और इससे जुड़े लोगों के खिलाफ आयकर विभाग की कार्रवाई टैक्स चोरी और वित्तीय अनियमितताओं के खिलाफ एक बड़ा कदम है। विश्वनाथ साहू की गिरफ्तारी और राजेश शर्मा के खिलाफ जांच से आने वाले दिनों में और चौंकाने वाले खुलासे हो सकते हैं।
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