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IAS Tina Dabi's second marriage: घूसकांड के आरोपी और 13 साल बड़े हैं UPSC टॉपर के मंगेतर, जानिए प्रदीप गवांडे के बारे में सबकुछ

IAS Tina Dabi's second marriage: घूसकांड के आरोपी और 13 साल बड़े हैं UPSC टॉपर के मंगेतर, जानिए प्रदीप गवांडे के बारे में सबकुछ IAS Tina Dabi's second marriage: accused of bribery and is 13 years older, fiancé of UPSC topper, know everything about Pradeep Gawande

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govind Dubey
IAS Tina Dabi's second marriage: घूसकांड के आरोपी और 13 साल बड़े हैं UPSC टॉपर के मंगेतर, जानिए प्रदीप गवांडे के बारे में सबकुछ

जयपुर। अपनी व्यक्गित जिंदगी को लेकर अक्सर चर्चाओं में रहने वालीं महिला अधिकारी आईएएस टीना डाबी एक बार फिर से शादी रचाने जा रही हैं। टीना डाबी 2016 यूपीएससी बैच की टॉपर हैं। उन्होंने अपने पति के रूप में प्रदीप गवांडे को चुना है। वहीं दोनों ने सगाई भी कर ली है और इसकी जानकारी अपने इंस्टाग्राम अकाउंट पर साझा की है। ऐसे में हम आपको बताने जा रहे हैं प्रदीप गवांडे के बारे में सबकुछ...

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टीना से उम्र में 13 साल हैं बड़े

महाराष्ट्र में 9 दिसंबर, 1980 को महाराष्ट्र में प्रदीप गवांडे का जन्म हुआ था। टीना डाबी का जन्म नौ नवंबर 1993 को हुआ था। प्रदीप टीना डाबी से 13 साल बड़े हैं। टीना ने 23 साल की उम्र में यूपीएसएसी टॉप किया था तो प्रदीप गवांडे आईएएस बनने से पहले एमबीबीएस डॉक्टर थे।

राजस्थान कैडर के आईएएस अधिकारी

महाराष्ट्र के रहने वाले प्रदीप गवांडे 2013 बैच के राजस्थान कैडर के आईएएस अधिकारी हैं। वह फिलहाल जयपुर में ही तैनात हैं और राजस्थान आर्कियोलॉजी एंड म्यूजियम डिपार्टमेंट में डायरेक्टर हैं। प्रदीप आईएएस अधिकारी टीना डाबी से तीन साल सीनियर हैं और उनकी भी यह दूसरी शादी है।

एसीबी ने दो घंटे तक की थी पूछताछ

घूसकांड में प्रदीप का नाम आ चुका है। प्रदीप गवांडे जब आरएसएलडीसी (RSLDC) में एमडी थे तब उनका नाम रिश्वत केस में आया था। एसीबी ने आईएएस नीरज के पवन के साथ-साथ प्रदीप गवांडे पर भी केस दर्ज किया था। सितंबर 2021 में भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो (एसीबी) ने प्रदीप गवांडे से 2 घंटे से अधिक समय तक पूछताछ की थी। एसीबी डीजी बीएल सोनी के निर्देश पर आईएएस नीरज के पवन और प्रदीप गवांडे समेत 9 लोगों के खिलाफ केस दर्ज किया था। एसीबी की दर्ज एफआईआर के अनुसार अधिकारी पहले कौशल विकास योजनाएं चलाने वाले ट्रेनिंग सेंटर्स को ब्लैकलिस्ट करते थे, फिर उनसे अधिकारियों का ही एक दलाल ब्लैकलिस्ट से हटाने का सौदा करता था।

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