नई दिल्ली। आज के समय में स्वास्थ्य संबंधी समस्याएं कब और कहां से आ जाती हैं, यह कोई नहीं जानता। ऐसे में ज्यादातर लोग अपने हित को देखते हुए हेल्थ इंश्योरेंस लेते हैं। हालांकि, कोरोना काल में कई ऐसे लोग हैं, जिन्होंने अपना इलाज पहले अस्पताल में करवाया और अब वे इंश्योरेंस कंपनी से क्लेम लेने के लिए रिक्वेस्ट कर रहे हैं। कई लोगों के क्लेम को कंपनियां कुछ कारणों से रिजेक्ट भी कर दे रही है। अगर आपके साथ भी ऐसा हुआ है और आपको लगता है कि आपका केस सही है आपने सही समय पर सभी शर्तों को पूरा किया है, लेकिन फिर भी कंपनी आपके क्लेम के रिक्वेस्ट को रिजेक्ट कर दे रही है, तो आप बीमा कंपनी की शिकायत भी कर सकते हैं।
आप बीमा कंपनी की शिकायत IRDA से कर सकते हैं। अगर यहां भी आपके केस की सुनवाई नहीं होती है तो आप बीमा लोकपाल में भी इसकी शिकायत कर सकते हैं। आइए जानते हैं क्या है इसका प्रोसेस और शिकायत को लेकर क्या नियम है?
कैसे करें शिकायत?
अगर आप बीमा कंपनी से परेशान हैं और उसकी शिकायत करना चाहते हैं तो सबसे पहले आप कंपनी के शिकायत सेल में अपनी बात रख सकते हैं। अगर वहां से आपको 15 दिनों के अंदर उचीत जवाब नहीं मिलता है, तो आप IRDA में शिकायत करें। आप IRDA के [email protected] के ई-मेल पर शिकायत कर सकते हैं। इसके अलावा आप IRDA के टॉल फ्री नंबर 155255 या 18004254732 पर भी शिकायत कर सकते हैं। अगर यहां भी शिकायत करने के बाद क्लेम को लेकर कुछ नहीं होता तो आप बीमा लोकपाल के पास इसकी शिकायत लेकर जा सकते हैं।
ये बीमा लोकपाल क्या है?
दरअसल, बीमा लोकपास, बीमाधारक और बीमा कंपनी के बीच कोर्डिनेशन करता है और कागजों के आधार पर क्लेम का एक अमाउंट तय करता है। अगर बीमाधारक क्लेम की राशि से सहमत है तो आदेश पास कर दिया जाता है और कंपनी को 15 दिनों में उसका पालन करना होता है। वहीं अगर बीमाधारक क्लेम की राशी से सहमत नहीं है तो फिर लोकपाल फैसला सुनाता है, जिसे बीमा कंपनी को मानना ही होता है।
कंज्यूमर कमीशन में भी कर सकते हैं शिकायत
बीमा लोकपाल के अलावा आप कंज्यूमर कमीशन में भी कंपनी के खिलाफ शिकायत कर सकते हैं। इसके लिए ऑनलाइन शिकायत करने की सुविधा है। हालांकि बाद में आपको कंज्यूमर कोर्ट में मौजूद होना होगा और फिर यहां से आपको न्याय दिलवाने की पूरी कोशिश की जाएगी।