नई दिल्ली। Delhi Employee OverTime: नौकरी कैसी भी हो सरकारी हो या प्राइवेट हर किसी कर्मचारी को अपनी मेहनत के बदले अच्छे पैसे और सुरक्षा की मांग होती ऐसा ही राजधानी दिल्ली में कर्मचारियों को खुशखबरी मिली है। जहां पर कर्मचारियों को अपने ओवर टाइम करने का दोगुना पैसा मिलेगा तो वहीं पर महिलाओं को नाइट शिफ्ट की नौकरी में सुरक्षा मिलेगी।
अब महिलाएं कर सकेगी अच्छे से नाइट शिफ्ट
आपको बताते चलें कि, श्रम मंत्री राज कुमार आनंद ने शुक्रवार को श्रम विभाग के अधिकारियों के साथ बैठक कर नौकरी करने वाली महिलाओं को खुशखबरी दी है जहां पर महिलाओं की हिस्सेदारी बढ़ाने के लिए उन्हें नाइट शिफ्ट में काम करने का फैसला लिया गया है। जिसके तहत अब महिलाएं रात 7 बजे से सुबह 6 बजे काम कर सकती हैं, हालांकि इसके लिए महिलाओं की सहमति होना बेहद आवश्यक माना जाएगा, इसके साथ ही नाइट शिफ्ट में काम करने वाली महिलाओं के लिए एम्पलॉइअर को उनके लिए घर से दफ्तर तक यातायात की व्यवस्था करनी होगी. कार्यस्थल पर महिलाओं के लिए शौचालय, पीने के पानी और उनके आवागमन के लिए उचित व्यवस्था होनी चाहिए और वह उनके कार्यस्थल के पास होना चाहिए।
Karnataka Assembly Election 2023: आज तीन जन सभाओं को संबोधित करेंगे पीएम मोदी, 10 मई को होगा चुनाव
ओवरटाइम करने पर मिलेगा दोगुना पैसा
आपको बताते चलें कि, यहां पर महिलाओ के साथ ही पुरूष कर्मचारियों को भी विभाग ने खुशखबरी दी है जहां पर अब ओवर टाइम काम करने वाले कर्मचारियों को अपनी मेहनत का पैसा मिलेगा. एक दिन में 8 घंटे से अधिक काम करने या एक सप्ताह में 48 घंटे से अधिक काम करने को ओवर टाइम माना जाएगा. इसके तहत अगर कोई कर्मचारी ओवर टाइम करता है तो उसे न्यूनतम मजदूरी के आधार पर प्रति घंटे के हिसाब से दोगुना तक अतिरिक्त भुगतान मिल सकता है. कोई भी व्यक्ति एक दिन में 12 घंटे से ज्यादा काम नहीं करेगा और न ही लगातार 7 दिन ओवर टाइम करेगा. वहीं एक हफ्ते में 60 घंटे से अधिक कार्य नहीं कर सकेगा। कर्मचारियों को छुट्टी का तोहफा देना कंपनी की जिम्मेदारी होगी।
MP Weather Rain Alert: नहीं मिलेगी बारिश से राहत, 5 मई तक ऐसा ही रहेगा मौसम
हर कर्मचारियों को मिलेगा अनुभव प्रमाण पत्र
यहां पर यह भी कहा गया कि, किसी भी क्षेत्र में कार्य करने वाले कर्मचारियों को जॉइनिंग और अनुभव पत्र (एक्सपीरियंस लेटर) देना अनिवार्य होगा. नियोक्ताओं को यह सुनिश्चित करना होगा कि उनके यहां कार्यरत सभी कर्मचारियों का रिकॉर्ड दर्ज होना चाहिए, इसी के साथ सभी कर्मचारियों को सैलरी स्लिप जरूर मिलनी चाहिए. जहां भी प्रवासी कर्मचारी कार्यरत होंगे वहां नियोक्ताओं को उन्हें साल में एक बार यात्रा भत्ता देना होगा. इसके लिए नियोक्ताओं को कर्मचारी के लिए कुछ राशि तय करनी होगी। इसके अलावा किसी भी कंपनी, फैक्ट्री या अन्य कार्यस्थल पर कोई भी दुर्घटना होने पर नियोक्ता को 12 घंटे के अंदर घटना की जानकारी श्रम विभाग को देनी होगी. वह टेलीफोन, मैसेज और ई-मेल के जरिए श्रम विभाग के इंस्पेक्टर और चीफ इंस्पेक्टर से संपर्क कर सकते हैं. किसी भी कर्मचारी की मृत्यु की घटना पर नियोक्ता को इसकी जानकारी देते हुए श्रम विभाग, जिलाधिकारी या उप-खंड मजिस्ट्रेट और पुलिस स्टेशन इंचार्ज और प्रवासी कर्मचारी होने पर उसके राज्य के संबंधित विभाग को नोटिस भेजकर जानकारी देनी होगी।