नई दिल्ली। क्या आप ने कभी सुना है कि ’मुर्दा’ खुद बैंक पहुंचकर अपना पैसा निकाला हो। सुनने में आप को भले ही यह बात अजीब लगे ,लेकिन ये बात बिल्कुल सही है। ये घटना विहार है कि जहां एक ’मुर्दा’ अपने ही अंतिम संस्कार Dead body reached bank को करने के लिए पैसा निकालने बैंक पहुंचे। बैंक में ’मुर्दा’ को देखकर बैंककर्मी और मौके पर मौजूद लोग हैरान रह हो गए। बैंक में मौजूद लोगों के कुछ समझ में नहीं आ रहा है कि आखिर मामला क्या है।
ये है मामला
बिहारके शाहजहांपुर थाना क्षेत्र के सिगरियावा गांव के रहने वाले 55 वर्षीय महेश यादव की मौत हो गई। शादी नहीं होने के कारण महेश यादव परिवार में अकेले थे। ऐसे में उनकी मौत के बाद उनका अंतिम संस्कार गांव के लोगों ने मिलकर करने का फैसला किया,लेकिन अंतिम संस्कार करने के लिए पैसेे भी चाहिए था। ऐेसे में गांव वालों को पता चला कि महेश यादव का कुछ पैसा बैंक में जमा है। बैंक में पैसे जमा होने की जानकारी लगते ही गांव के कुछ लोग महेश यादव के खाते से पैसा निकालने पहुंचे। जब गांव वाले महेश यादव के खाते से पैसे निकालने के लिए बैंक अधिकारी को फाॅर्म दिया गया तो उसने महेश यादव को मौजूद नहीं होने के कारण पैसे देनेे से इंकार कर दिया।
शव लेकर बैंक पहुंच गए ग्रामीण
बैंक अधिकारी द्वारा मृतक महेश यादव के खाते से पैसे नहीं देने के बाद ग्रामीणों को मजबूरन उनका शव लेकर बैंक जाना पड़ा। ग्रामीण करीब 3 घंटे तक महेश का शव बैंक में रखे रहे। लंबे समय तक चली बातचीत के बाद बैंक मैनेजर ने 10 हजार रुपए देकर मामले को शांत कराया। बाद में ग्रामीण शव लेकर गांव वापस लौटे और श्मशान ले जाकर महेश यादव का अंतिम संस्कार किया।
इस लिए करना पड़ा परेशानी का सामना
दअसल महेश यादव का कैनरा बैंक में खाता है। उनके खाते में लगभग 1 लाख से अधिक रुपए जमा है, लेकिन बैंक खाते में महेश यादव का कोई नॉमिनी नहीं होने से बैंक वाले ग्रामीणों को पैसा नहीं दे रहे थे। जिस कारण ग्रामीण मजबूरन उनका शव लेकर बैंक पहुंचे। पैसे मिलने के बाद महेश यादव का अंतिम संस्कार किया गया।