Chhattisgarh New DGP: छत्तीसगढ़ पुलिस के नए डीजीपी का नाम लगभग तय हो गया है। वर्तमान डीजीपी अशोक जुनेजा का कार्यकाल 5 फरवरी 2025 को समाप्त हो जाएगा। उनके कार्यकाल के खत्म होने से पहले राज्य सरकार ने वरिष्ठ आईपीएस अधिकारियों के नाम शॉर्टलिस्ट कर केंद्रीय गृह मंत्रालय को गोपनीय प्रस्ताव भेजा था।
डीजीपी के पद के लिए सबसे आगे अरुण देव का नाम
इस प्रस्ताव में सीनियर आईपीएस पवन देव, अरुण देव और हिमांशु गुप्ता के नाम शामिल थे। गृह मंत्रालय के सूत्रों के अनुसार, इस समय डीजीपी के पद के लिए सबसे आगे अरुण देव का नाम चल रहा है। सूत्रों के अनुसार, छत्तीसगढ़ के नए डीजीपी की घोषणा जल्दी हो सकती है।
गृह विभाग के विश्वसनीय सूत्रों के मुताबिक, सीएम सचिवालय से फाइल 20 दिन पहले UPSC को भेजी गई थी। UPSC में प्रक्रिया पूरी होने के बाद वहां से पत्र राज्य सरकार को प्राप्त हुआ है। राज्य सरकार ने UPSC से प्राप्त पत्र पर अंतिम निर्णय लगभग ले लिया है और इसे जल्द ही सार्वजनिक किया जाएगा।
डीजीपी बनने के लिए 30 वर्षों की सेवा आवश्यक
सुप्रीम कोर्ट का 2006 का फैसला राज्य डीजीपी नियुक्तियों के लिए मार्गदर्शक दिशा-निर्देश के रूप में कार्य करता है। न्यायालय ने आदेश दिया था कि राज्य सरकारें संघ लोक सेवा आयोग (UPSC) द्वारा सूचीबद्ध तीन सबसे वरिष्ठ अधिकारियों में से अपने डीजीपी का चयन करें। चयनित अधिकारी को अपनी सेवानिवृत्ति तिथि की परवाह किए बिना कम से कम दो साल का कार्यकाल पूरा करना होगा।
डीजीपी बनने के लिए 30 वर्षों की सेवा आवश्यक है, हालांकि विशेष परिस्थितियों में भारत सरकार 30 वर्षों की सेवा की जगह 25 वर्षों की सेवा की अनुमति दे सकती है, खासकर छोटे राज्यों में, जहां आईपीएस कैडर छोटा होता है। बड़े राज्यों के लिए यह नियम लागू नहीं है।