Chhattisgarh Online Fraud: छत्तीसगढ़ का दुर्ग ज़िला ऑनलाइन ठगी का गढ़ बनता जा रहा है। दरअसल, भिलाई स्टील प्लांट से रिटायर वर्कर्स के पास लाखों रुपए होते हैं। ऐसे में लिस्ट बनाकर ये ठग उन्हें अपने जाल में फंसाने की कोशिश में जुट जाते हैं। दुर्ग ज़िले में ही बीते 8 महीनों में 319 लोगों के साथ धोखाधड़ी की गई है।
इनमें टाउनशिप के भिलाई नगर थाना इलाके (Chhattisgarh Online Fraud) में रहने वाले लोग साइबर ठगों के निशाने पर सबसे ज़्यादा रहे हैं। यहां सबसे ज्यादा 57 ठगी के केस दर्ज हुए हैं, तो वही सुपेला थाना इलाके में अब तक 46 मामले सामने आए हैं। इसके अलावा दुर्ग कोतवाली में 27, मोहन नगर थाना में 22 और पद्मनाभपुर में धोखाधड़ी के 22 मामले सामने आए हैं।
दुर्ग पुलिस के लिए बने सिरदर्द
दुर्ग जिले में लगातार ऑनलाइन ठगी फ्रॉड (Chhattisgarh Online Fraud) और धोखाधड़ी के अपराध बढ़ रहे हैं। जिसको लेकर अब तक दुर्ग जिले में ही अकेले 8 महीना में 319 से ज्यादा लोग ऑनलाइन फ्रॉड और धोखाधड़ी का शिकार हुए हैं। जिसके बाद अब यह ऑनलाइन धोखाधड़ी और साइबर फ़्रॉड अपराध दुर्ग पुलिस के लिए भी सर दर्द बन चुके हैं।
रिटायरमेंट के बाद मिलते हैं करोड़ों
छत्तीसगढ़ के दुर्ग जिले में एशिया का सबसे बड़ा स्टील प्लांट भिलाई स्टील प्लांट है, जहां पर हर महीने कुछ लोग रिटायर होते हैं, तो उन्हें रिटायरमेंट के बाद लगभग करोड़ों रुपए भी मिलते हैं। जिसके बाद साइबर फ्रॉड (Chhattisgarh Online Fraud) भिलाई स्टील प्लांट से रिटायर हुए या रिटायर होने वाले लोगों की एक सूची बनाते हैं और फिर शुरू होता है।
साइबर ठगों के सबसे ज्यादा निशाने पर
ऑनलाइन के जाल में संबंधित व्यक्तियों को फसाने का सिलसिला अकेले दुर्ग जिले में ही बीते आठ महीना में 319 लोग धोखाधड़ी का शिकार होकर थाने पहुंचे। इनमें टाउनशिप के भिलाई नगर थाना अंतर्गत रहने वाले लोग साइबर ठगों (Chhattisgarh Online Fraud) के सबसे ज्यादा निशाने पर रहे हैं।
यहां सबसे ज्यादा 57 ठगी के प्रकरण दर्ज हुए हैं तो वहीं सुपेला थाना क्षेत्र में अब तक 46 प्रकरण सामने आए हैं। इसके अलावा दुर्ग कोतवाली में 27, मोहन नगर थाना में 22 और पद्मनाभपुर में धोखाधड़ी के 22 मामले सामने आए हैं।
इन इलाकों के लोग हुए ठगी का शिकार
दुर्ग जिले में औसतन प्रतिदिन एक से ज्यादा व्यक्ति को साइबर ठगों ने अपना शिकार बनाया है। ये शातिर ठग नए पैटर्न पर जाल बिछा रहे हैं। टारगेट ऐसे क्षेत्रों (Chhattisgarh Online Fraud) के लोगों को बनाया जा रहा,जहां पढ़ा-लिखा, नौकरीपेशा या व्यापारी वर्ग रहता है। इनमें रिटायर्ड अफसर-कर्मी ज्यादा हैं।
टाउनशिप एरिया का सबसे बड़ा हिस्सा भिलाई नगर और भट्टी थाना क्षेत्र में आता है, लेकिन सबसे ज्यादा धोखाधड़ी के प्रकरण भिलाई नगर थाना क्षेत्र में हुए। यहां के सेक्टर 10, हुडको, सेक्टर-5, हॉस्पिटल सेक्टर, सेक्टर-9 एरिया में रहने वाले लोग ठगी के शिकार हुए।
इन इलाकों में व्यापारी, बीएसपी के बड़े अधिकारी समेत अन्य शासकीय विभाग के अफसर ज्यादा रहते हैं। साइबर ठगों का शिकार भी इन्हीं एरिया में रहने वाले लोग हुए है। इसी तरह सुपेला थाना क्षेत्र के नेहरू नगर, स्मृति नगर जैसे पॉश इलाके हैं,जहां के कई लोग ठगे गए हैं।
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ठगी का तरीका बदल रहे बदमाश
वहीं लोगों को ठगी (Chhattisgarh Online Fraud) का शिकार बनाने के लिए बदमाश लगातार तरीका भी बदल रहे हैं। पिछले साल तक लोग लॉटरी में इनाम निकलने, ओएलएक्स पर सामान खरीदी-बिक्री करने, बैंक खाता बंद होने का झांसा देकर ओटीपी मांगकर जैसे तमाम पैटर्न पर ठगी करते रहे।
लेकिन इस वर्ष शेयर मार्केट में मुनाफे के झांसे (Chhattisgarh Online Fraud) में लेकर सबसे ज्यादा ठगी हुई है। करीब 70 फीसदी प्रकरणों में लोगों ने मुनाफे के लालच के झांसे में आकर अपनी गाढ़ी कमाई गंवाई है। इस मामले पर दुर्ग एसपी जितेंद्र शुक्ला ने कहा कि जितने लोग भी ऑनलाइन ठगी के शिकार हो रहे हैं वो केवल पैसे के लालच में आकर ही अपने जीवन भर की कमाई गंवा रहे है।
आम जनों को ये समझना जरूरी
आम लोगों को समझना चाहिए कि आसान तरीके (Chhattisgarh Online Fraud) से पैसे ना तो डबल होंगे, ना तो अधिक मिलेंगे। दुर्ग पुलिस द्वारा जन जागरूकता अभियान भी चलाया जा रहा है। जिसके अंतर्गत लोगों को जागरूक करने के लिए व्हाट्सऐप के 700 ग्रुप बनाए गए हैं। इस पर समय समय पर लोगों को साइबर ठगो से बचाव के लिए जानकारी दी जाती है। लोगों से अपील है की आसान तरीके से पैसे लालच में ना आए।
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