वाशिंगटन। अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडन ने अपने रूसी समकक्ष व्लादिमीर पुतिन पर ‘‘आक्रमणकारी’’ होने का आरोप लगाते हुए बृहस्पतिवार को कहा कि रूस के राष्ट्रपति ने यूक्रेन के खिलाफ युद्ध को चुना।
बाइडन ने रूस के खिलाफ नए आर्थिक प्रतिबंधों की घोषणा की। बाइडन ने कहा, ‘‘पुतिन एक आक्रमणकारी हैं। पुतिन ने युद्ध चुना।’’ उन्होंने रूस के खिलाफ कड़े आर्थिक प्रतिबंधों की घोषणा की, लेकिन रूसी बलों के खिलाफ युद्ध के लिए यूक्रेन में अमेरिकी बलों को भेजने से साफ इनकार कर दिया। उन्होंने कहा कि दुनिया रूस के खिलाफ एकजुट है। बाइडन ने कहा कि यदि रूस अमेरिका पर साइबर हमला करता है, तो अमेरिका उसका जवाब देने के लिए तैयार है।
उन्होंने नाटो बलों की सहायता के लिए और बलों को भेजने की घोषणा भी की। बाइडन ने कहा कि रूसी बैंकों, कुलीन वर्गों और उच्च प्रौद्योगिकी वाले क्षेत्रों को निशाना बनाकर प्रतिबंध लगाए गए हैं। उन्होंने कहा कि अमेरिका और उसके सहयोगी चार बड़े रूसी बैंकों की संपत्तियों को ब्लॉक करेंगे, निर्यात पर नियंत्रण लागू करेंगे और कुलीन वर्गों पर प्रतिबंध लगाएंगे। इससे पहले, बाइडन ने यूक्रेन पर रूस के ‘‘बिना किसी उकसावे और अनुचित’’ हमले के लिए एकजुट प्रतिक्रिया पर चर्चा करने के लिए बृहस्पतिवार को जी-7 देशों के नेताओं के साथ डिजिटल बैठक की।
उन्होंने कहा, ‘‘मैंने यूक्रेन पर राष्ट्रपति पुतिन के अनुचित हमले पर चर्चा करने के लिए अपने जी7 समकक्षों के साथ आज सुबह बैठक की। हमने रूस को जवाबदेह ठहराने के लिए विनाशकारी प्रतिबंध लगाने और अन्य आर्थिक कदम उठाने पर सहमति जताई। हम यूक्रेन के बहादुर लोगों के साथ खड़े हैं।’’ वहीं, रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने बृहस्पतिवार को टेलीविजन पर अपने संबोधन में कहा कि यूक्रेन में एक सैन्य अभियान शुरू करने का उनका कदम पड़ोसी देश से उत्पन्न खतरों के जवाब में उठाया गया है। पुतिन ने अन्य देशों को भी चेतावनी दी कि यदि उन्होंने रूसी सैन्य अभियान में हस्तक्षेप करने का प्रयास किया तो वे ‘‘ऐसे परिणाम देखेंगे जो उन्होंने कभी नहीं देखे होंगे।’’ जी-7 दुनिया की सात उन्नत अर्थव्यवस्थाओं का एक समूह है। इसमें कनाडा, फ्रांस, जर्मनी, इटली, जापान, ब्रिटेन, अमेरिका और यूरोपीय संघ (ईयू) शामिल हैं।