Reason Of Baldness: आज के जमाने में हर दूसरा व्यक्ति स्टाइलिश दिखना चाहता है. इस बात की होड़ में लोग सैलून से हेयर कलरिंग, ब्लोंडिंग जैसे एक्सपेरिमेंट अपने बालों पर करवाते हैं. इतना ही नहीं कई बार युवा तानव और डिप्रेशन के कारण भी बाल झड़ने लगते हैं.
कई बार बाल इतनी मात्रा में झाड़ना शुरू हो जाते हैं कि गंजेपन की समस्या होने लगती है. इतना ही आजकल जंक फ़ूड का सेवन भी गंजापन का प्रमुख कारण बन रहा है. एक्सपर्ट्स के अनुसार पिछले कुछ सालों में गंजेपन के मामलों में लगभग 40 प्रतिशत की बढ़ोतरी देखी गई है.
ख़ास तौर पर 20 से 30 वर्ष के युवकों में गंजे पण की समस्या ज्यादा देखने को मिल रही है. आज हम आपको बताएंगे कि आखिर क्यों सर से बाल झड़ते हैं.साथ शरीर में कौनसे पोषक तत्व की कमी के कारण गंजेपन की समस्या आती है.
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— Bansal News (@BansalNewsMPCG) September 5, 2024
आखिर क्यों झड़ते हैं बाल
बाल झड़ने के कई कारण हो सकते हैं, जो व्यक्ति की उम्र, जीवनशैली और स्वास्थ्य पर निर्भर करते हैं। सबसे आम कारणों में आनुवांशिकता (genetics) शामिल है, जिससे समय के साथ बाल पतले और कमजोर होने लगते हैं।
इसके अलावा, तनाव, खराब आहार, और हार्मोनल असंतुलन भी बालों के झड़ने का मुख्य कारण बनते हैं। महिलाओं में गर्भावस्था, चाइल्डबर्थ और मीनोपॉज के दौरान हार्मोनल बदलाव से बाल झड़ सकते हैं।
अनियमित दिनचर्या, ज्यादा केमिकल प्रोडक्ट का उपयोग, और बालों की उचित देखभाल न करना भी बाल झड़ने की समस्या को बढ़ा सकता है। साथ ही, थायराइड, एनीमिया और विटामिन की कमी जैसी स्वास्थ्य समस्याएँ भी बालों के झड़ने का कारण हो सकती हैं।
पोषक तत्व की कमी गंजापन का कारण
आयरन की कमी: आयरन की कमी से एनीमिया हो सकता है, जो बालों की जड़ों को पर्याप्त ऑक्सीजन नहीं पहुंचने देता, जिससे बाल कमजोर होकर झड़ने लगते हैं।
विटामिन D की कमी: विटामिन D की कमी से बालों के विकास में रुकावट पैदा होती है, जिससे बाल पतले और कमजोर हो सकते हैं, और गंजापन हो सकता है।
विटामिन B12 की कमी: विटामिन B12 की कमी से बालों की कोशिकाओं को पोषण नहीं मिल पाता, जिससे बालों का झड़ना शुरू हो सकता है।
जिंक की कमी: जिंक बालों के टिश्यू की मरम्मत और वृद्धि के लिए जरुरी है। इसकी कमी से बालों की ग्रोथ स्लो हो सकती है और गंजापन हो सकता है।
प्रोटीन की कमी: प्रोटीन बालों का मुख्य कोंस्टीटूएंट (घटक) है, इसकी कमी से बाल कमजोर होकर झड़ सकते हैं और नए बालों का विकास धीमा हो सकता है।
ओमेगा-3 फैटी एसिड की कमी: ये फैटी एसिड स्कैल्प को हाइड्रेट रखते हैं। इसकी कमी से स्कैल्प सूख सकती है और बाल झड़ सकते हैं।
इन कारणों से भी झड़ते हैं बाल
वैसे तो आपने डॉक्टर से सुना होगा कि गंजापन हमारी जेनेटिक समस्या या खराब खानपान के कारण होता है. लेकिन ऐसा नहीं है कई बार हम रोजाना जिंदगी में जिस तरह बालों की देखभाल करते वो भी गंजे पन का एक कारण हो सकता है.
कई बार सैलून या घर पर बालों को सुलझाने या उनके देखभाल का गलत तरीका अपनाते हैं.
केमिकल्स की हानि: हेयर डाई, स्ट्रेटनर, और परमानेंट कर्लिंग केमिकल्स में सैकड़ों हानिकारक रसायन होते हैं जो बालों की संरचना को नुकसान पहुँचाते हैं। इनसे बाल कमजोर, रूखे और भंगुर हो सकते हैं, और लंबे समय तक उपयोग करने पर बालों का झड़ना भी बढ़ सकता है।
त्वचा की समस्याएं: हेयर केमिकल्स से स्कैल्प पर जलन, खुजली, और एलर्जी हो सकती है। यह स्कैल्प की सूजन और बालों के झड़ने का कारण बन सकता है।
हीट का असर : हेयर ड्रायर, स्ट्रेटनर, और कर्लिंग आइरन का अत्यधिक उपयोग बालों को गर्म करता है, जिससे बालों की नमी कम हो जाती है। इससे बाल सूखे, भंगुर और टूटने लगते हैं।
रूट्स पर दबाव: हेयर टूल्स का लगातार उपयोग बालों के रूट्स पर दबाव डालता है, जिससे बालों का झड़ना और टूटना बढ़ सकता है।
केमिकल्स से टूटना: केमिकल्स और अत्यधिक गर्मी बालों की प्राकृतिक लेयर को तोड़ देते हैं, जिससे बालों की ताकत कम हो जाती है और वे आसानी से टूट सकते हैं।
इस तरह रोक सकते हैं हेयरफॉल
संतुलित आहार: प्रोटीन, विटामिन (विशेषकर विटामिन A, C, D, और E), और मिनरल्स (जिंक, आयरन) से भरपूर आहार लें। हरी पत्तेदार सब्जियाँ, नट्स, बीन्स, और फल शामिल करें।
नियमित मसाज: स्कैल्प की नियमित मालिश से ब्लड सर्कुलेशन बेहतर होता है, जो बालों के विकास को बढ़ा सकता है। नारियल का तेल या ऑलिव ऑयल उपयोग करें।
दवाइयों का असर: कुछ दवाएँ, जैसे कि कीमोथेरेपी, रक्त पतला करने वाली दवाएँ, और कुछ एंटी-डिप्रेसेंट्स, बालों के झड़ने का कारण बन सकती हैं।
ज्यादा टाइट हेयर स्टाइल न करें: अपने बालों को बहुत ज़्यादा टाइट स्टाइल में न रखें। अगर आप अपने बालों को चोटी, बन या पोनीटेल में बांधना पसंद करते हैं, तो उन्हें ढीला करें। इस तरह, आपके बाल जड़ों से ज़्यादा नहीं खिंचेंगे।
बालों को रगड़े नहीं: अपने बालों को ज़्यादा न छुएँ। बालों को खींचना, मोड़ना या रगड़ना भी अच्छा नहीं है। बाल धोने के बाद, उन्हें तौलिए से थपथपाकर धीरे से सुखाएँ। अपने बालों को तौलिए से न रगड़ें।
विटामिन भी जरुरी: बालों के झड़ने को रोकने के लिए अपने भोजन में विटामिन B (जैसे राइबोफ्लेविन, बायोटिन, फोलेट, और विटामिन B12), विटामिन C, और विटामिन D को शामिल करें। इसके साथ ही, सेलेनियम और आयरन का सेवन भी बालों की सेहत को बनाए रखने में सहायक होता है।
दवाइयां और बीमारियाँ भी करती हैं असर
गंजापन या बालों का झड़ना कई बीमारियों और दवाओं के कारण बढ़ सकता है। सबसे आम कारणों में हार्मोनल असंतुलन शामिल है, जैसे कि थायराइड समस्याएँ या टेस्टोस्टेरोन स्तर में बदलाव, जो बालों की वृद्धि को प्रभावित कर सकते हैं।
आनुवंशिकता (genetics) भी एक प्रमुख कारण है, विशेषकर पुरुषों में, जो एंड्रोजेनिक एनीमिया के रूप में जाना जाता है। कुछ दवाएँ, जैसे कि कीमोथेरेपी, रक्त पतला करने वाली दवाएँ और एंटी-डिप्रेसेंट्स, बालों के झड़ने का कारण बन सकती हैं।
इसके अलावा, स्वास्थ्य समस्याएँ जैसे कि एनीमिया, विटामिन और मिनरल्स की कमी, और अन्य पोषण की कमी भी गंजापन को बढ़ा सकती हैं। इन समस्याओं को पहचान कर और उचित उपचार कर, गंजापन की समस्या को नियंत्रित किया जा सकता है।
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