Arrest Warrant Against Dhar Collector: धार कलेक्टर और अन्य 2 अधिकारियों को गिरफ्तार करने के लिए वारंट निकालने का आदेश एमपी हाईकोर्ट से जारी हुआ है। मध्य प्रदेश हाईकोर्ट की इंदौर खंडपीड ने धार जिले के कलेक्टर प्रियांक मिश्र और जिला पंचायत के मुख्य तत्कालीन कार्यपालन अधिकारी शृंगार श्रीवास्तव के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट निकालने का आदेश दिया है। दरअसल इन अधिकारियों और कलेक्टर साहब ने कोर्ट के आदेश को अनसुना किया था।
इंदौर हाई कोर्ट का बड़ा फैसला, कलेक्टर और सीईओ के खिलाफ जारी किया गिरफ्तारी वारंट#IndoreHighCourt #arrestwarrant #Collector #CEO #mpnews pic.twitter.com/BdONHr8uKC
— Bansal News (@BansalNewsMPCG) October 5, 2024
इस मामले को लेकर कलेक्टर ने नहीं की कार्रवाई
याचिकाकर्ता के अधिवक्ता प्रसन्ना भटनागर ने बताया कि मिथुन चौहान ग्राम पंचायत नालछा जिला धार में ग्राम रोजगार सहायक के पद पर पदस्थ थे। 25 फरवरी 2017 को स्वास्थ खराब होने की वजह से एक दिन की वे काम पर नहीं ऑफिस नहीं आए। इसी दिन अनुपस्थिति को कदाचरण बताते हुए, बिना जांच किए और बिना सुनवाई का अवसर दिए उसे हटा दिया गया। इसके बाद मिथुन ने हाईकोर्ट में याचिका लगा दी।
कोर्ट ने दिया था नौकरी पर वापस लौटाने का आदेश
2019 में मध्य प्रदेश हाईकोर्ट की इंदौर खंडपीठ में रिट याचिका प्रस्तुत की गई थी। इसके बाद हाईकोर्ट ने इस मामले में सुनवाई करते हुए 22 अगस्त 2023 को उसकी सेवा समाप्ति के आदेश को निरस्त किया था। इसके साथ ही यह आदेश भी दिया गया कि ग्राम रोजगार सहायक को 50 प्रतिशत पिछले वेतन समेत वापस नौकरी पर रखा जाए। हाईकोर्ट ने कलेक्टर से इस आदेश का पालन कराने के लिए कहा था।
हाईकोर्ट के आदेश का कलेक्टर महोदय ने नहीं किया पालन
हाईकोर्ट के आदेश को चुनौती देते हुए शासन द्वारा अपील प्रस्तुत की गई जो 3 जुलाई 2024 को निरस्त हो गई। अपील निरस्त होने के बाद भी हाईकोर्ट के आदेश का पालन नहीं हुआ। इसपर याचिकाकर्ता ने अवमानना याचिका प्रस्तुत की जिसमें दिनांक 20 सितंबर 2024 को शासन को यह निर्देश दिए कि वह आदेश का पालन कराएं और 4 अक्टूबर 2024 को न्यायालय के समक्ष उपस्थित रहें। इसके बाद भी आदेश का पालन नहीं हुआ और न ही दोनों अधिकारी हाईकोर्ट में उपस्थित हुए। इसपर हाईकोर्ट ने कलेक्टर और मुख्य कार्यपालन अधिकारी के विरुद्ध गिरफ्तारी वारंट जारी कर दिया।