देहरादून। उत्तराखंड में फ्रेंच भाषा और संस्कृति को बढ़ावा देने के लिए प्रतिष्ठित संस्थान ‘एलायंस फ्रांसेस’ जल्द ही देहरादून में अपना कार्यालय स्थापित करेगा।
यहां जारी एक सरकारी सूचना के अनुसार, फ्रांस सरकार द्वारा समर्थित ‘एलायंस फ्रांसेस’ के एक प्रतिनिधिमंडल ने कुछ प्रमुख स्थानीय नागरिकों के साथ मंगलवार को इस संबंध में मुख्यमंत्री के सचिव आर मीनाक्षी सुंदरम से मुलाकात की और उन्हें अपनी योजना से अवगत कराया।
उत्तराखंड सरकार से मांगा सहयोग
सरकारी सूचना के अनुसार, उन्होंने एलायंस फ्रांसेस के केंद्र की स्थापना में उत्तराखंड सरकार का सहयोग भी मांगा। फ्रांसीसी दूतावास में शिक्षा, विज्ञान और संस्कृति के सलाहकार इमैनुएल लेब्रून-डेमियंस के नेतृत्व में आए प्रतिनिधिमंडल ने कहा कि फ्रांसीसी सरकार सांस्कृतिक संबंधों और फ्रेंच शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए ‘एलायंस फ्रांसेस’ तथा अन्य संगठनों के समर्थन से देहरादून में उपस्थिति चाहती है।
मुलाकात के दौरान डेमिएन्स ने इस बात पर जोर दिया कि भारत सरकार का फ्रांस के साथ बेहद खास रिश्ता है और फ्रांस सरकार इस रिश्ते को और मजबूत करना चाहती है।
उन्होंने कहा कि ‘एलायंस फ्रांसेस’ का यह केंद्र उत्तराखंड में फ्रांस की ओर से औद्योगिक विकास और निवेश का मार्ग भी प्रशस्त करेगा।
फ्रांसीसी लेखकों को किया जाएगा आमंत्रित
डेमिएन्स और अन्य सदस्यों ने बताया कि शुरुआत में केंद्र उन लोगों के लिए फ्रेंच कक्षाएं शुरू करेगा जो फ्रेंच भाषा सीखना चाहते हैं। उन्होंने कहा कि बाद में, फ्रांसीसी लेखकों, संगीतकारों, कलाकारों, गायकों और मंडलियों को भी देहरादून में प्रदर्शन के लिए आमंत्रित किया जाएगा।
उन्होंने कहा कि यह केंद्र राज्य के उन छात्रों को छात्रवृत्ति दिलवाने में भी मदद करेगा जो फ्रांस में अध्ययन करना चाहते हैं। केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय द्वारा देश में विदेशी विश्वविद्यालयों के परिसरों की स्थापना को प्रोत्साहित किए जाने का जिक्र करते हुए सुंदरम ने प्रतिनिधिमंडल से उत्तराखंड में अच्छे फ्रांसीसी विश्वविद्यालयों के परिसरों की स्थापना की संभावना तलाशने का आग्रह भी किया।
सुंदरम ने दिया आश्वासन
सुंदरम ने आश्वासन दिया कि सरकार ऐसे विश्वविद्यालयों की स्थापना में हर संभव मदद करेगी। बैठक में फ्रांस में फिजियोथेरेपी आदि जैसी भारतीय पेशेवर डिग्रियों को मान्यता देने पर भी चर्चा हुई।
प्रतिनिधिमंडल ने कहा कि फ्रांसीसी सरकार सकारात्मक रूप से अध्ययन करेगी कि भारत में ये डिग्रियां कैसे हासिल की जाती हैं और समकक्ष फ्रांसीसी डिग्रियों के साथ उनकी तुलना करने के बाद वह निश्चित रूप से उन्हें मान्यता देने पर विचार करेगी।
सुंदरम से मुलाकात करने वाले प्रतिनिधिमंडल में डेमियन्स के अलावा ‘अलायंस फ्रांसेज़’ नेटवर्क की समन्वयक एलिस गौनी तथा एलायंस फ्रांसेज़ देहरादून सपोर्ट ग्रुप के सदस्य राहुल जैन भी शामिल थे।
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