नई दिल्ली। टोक्यो ओलंपिक में पुरुषों की भाला फेंक स्पर्धा में भारत के जेवलिन थ्रोअर नीरज चोपड़ा ने इतिहास रच दिया है। उन्होंने इस स्पर्धा में भारत को गोल्ड दिलाया। इस फाइनल मुकाबले में आठ खिलाड़ी पदक के लिए किस्मत आजमा रहे थे। आइए एक नजर डालते हैं उनके करियर पर ।
इतिहास रच दिया
ओलंपिक के इतिहास में भारत की तरफ से अब तक कोई भी एथलीट ट्रैक एंड फील्ड स्पर्धा में पदक नहीं जीत पाया था। लेकिन जेवेलिन थ्रोअर नीरज चोपड़ा ने इस सूखे को खत्म कर दिया। चोपड़ा हरियाणा के पानीपत जिले के खांद्रा गांव के रहने वाले हैं। उनका जन्म 24 दिसंबर 19997 को एक किसान परिवार में हुआ था। उन्होंने चंडीगढ़ के डीएवी कॉलेज से पढ़ाई की है।
सेना में अफसर हैं नीरज चोपड़ा
नीरज खिलाड़ी के साथ-साथ सेना में अफसर भी हैं। दरअसल, साल 2016 में पोलैंड में हुए आईएएएफ चैंपियनशिन में 86.48 मीटर दूर भाला फेंककर स्वर्ण पदक जीता था। उनके इस प्रदर्शन के बाद ही उन्हें सेना में अधिकारी नियुक्त किया गया था। नीरज एशियाई खेलों में स्वर्ण पदक जीतने वाले भारत के पहले एथलीट हैं। साल 2018 में एशियन और कॉमनवेल्थ गेम्स में शानदार प्रदर्शन करने के बाद नीरज चोटिल हो गए थे। लेकिन, उन्होंने हारी नहीं मानी और जब दुनिया कोरोना जैसे वैश्विक महामारी से जूझ रही थी, तब उन्होंने अपने आप को ओलंपिक के लिए तैयार किया।
नीरज के नाम कई रिकॉर्ड
नीरज के नाम कई रिकॉर्ड दर्ज हैं। 23 वर्षीय नीरज एथलीट अंजू बॉबी जॉर्ज के बाद दूसरे भारतीय हैं जिन्होंने एथलेटिक्स में स्वर्ण जीता है। जबकि ओलंपिक में पहले भारतीय हैं जिन्होंने जेवलिन थ्रो में गोल्ड मेडल पर कब्जा किया है। नीरज कम उम्र से ही अपने बाजुओं का दम दिखा चुके हैं। उन्होंने साल 2016 में आईएएएफ वर्ल्ड अंडर 20 में भी स्वर्ण पदक जीता था। इसके अलवा इसी साल दक्षिण एशियाई खेलों के दौरान भी उन्होंने 82.23 मीटर दूर भाला फेंककर गोल्ड पर कब्जा किया था। साल 2017 में 85.23 मीटर का थ्रो कर एशियन एथलेक्टिस चैंपियनशिप में स्वर्ण पदक जीता था।
इन गेम्स में गोल्ड पर कर चुके हैं कब्जा
1. टोक्यो ओलंपिक 2021
2. एशियन गेम्स 2018 जकार्ता स्वर्ण पदक
3. कॉमनवेल्थ गेम 2018
4. एशियन चैंपियनशिप 2017 भुव नवनेश्वर
5. दक्षिण एशियाई खेल गुवाहाटी 2016
6. वर्ल्ड जूनियर चैंपियनशिप 2016