लखनऊ। समाजवादी पार्टी (सपा) अध्यक्ष अखिलेश यादव ने प्रदेश की बढ़ती महंगाई, खराब कानून-व्यवस्था, और बेरोजगारी समेत विभिन्न मुद्दों को लेकर बुधवार को विधानभवन परिसर में धरना देने जा रहे सपा विधायकों, नेताओं और कार्यकर्ताओं की गिरफ्तारी तथा पुलिस द्वारा किये गये कथित दुर्व्यवहार को लोकतंत्र की हत्या करार देते हुए इसकी कड़ी निंदा की । सपा ने विधानभवन में धरना देने का अगले चार दिन का कार्यक्रम निरस्त कर दिया है और अब 19 सितंबर को पार्टी अध्यक्ष अखिलेश यादव के नेतृत्व में दल के सभी विधायक मॉनसून सत्र की कार्यवाही में हिस्सा लेने के लिये पार्टी कार्यालय से विधानभवन तक पैदल मार्च करेंगे।
उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने यहां एक बयान में कहा कि खराब कानून-व्यवस्था, बढ़ती महंगाई, बेरोजगारी, भ्रष्टाचार, महिलाओं के प्रति बढ़ते अपराधों, समाजवादी पार्टी के नेताओं और कार्यकर्ताओं के खिलाफ झूठे मुकदमें दर्ज किये जाने समेत विभिन्न मुद्दों को लेकर विधान भवन स्थित पूर्व प्रधानमंत्री चौधरी चरण सिंह की प्रतिमा के समक्ष शांतिपूर्ण ढंग से धरना देने जा रहे समाजवादी पार्टी विधायकों, नेताओं और कार्यकर्ताओं के साथ पुलिस दुर्व्यवहार और गिरफ्तारी लोकतंत्र की हत्या के समान है।
उन्होंने आरोप लगाया कि सरकार का रवैया पूरी तरह अलोकतांत्रिक और तानाशाहीपूर्ण है। उन्होंने बताया कि जनता की समस्याओं और जनहित के मुद्दों को लेकर शांतिपूर्ण धरना प्रदर्शन विपक्ष का लोकतांत्रिक अधिकार है। अखिलेश ने आरोप लगाया कि भाजपा सरकार लगातार जनता के लोकतांत्रिक अधिकारों का हनन कर रही है और प्रदेश में आपातकाल जैसे हालात है, जनता और विपक्ष की आवाज को कुचलने का षड्यंत्र किया जा रहा है।
सपा नेता ने आरोप लगाया कि पुलिस ने विधायकों और पूर्व विधायकों के साथ दुर्व्यवहार किया। उनके हाथ से नारे लिखी तख्तियां छीन लीं और उन्हें धक्का देकर बसों में ठूंस दिया गया। उन्होंने आरोप लगाया कि कई विधायक एवं नेता पुलिस की धक्का-मुक्की से घायल हो गए। उन्होंने कहा कि विधायक मनोज कुमार पाण्डेय का पुलिस ने हाथ मरोड़ दिया। उन्होंने दावा किया कि प्रदर्शन कर रहे समाजवादी पार्टी के नेताओं और कार्यकर्ताओं को पुलिस प्रशासन द्वारा जबरन बसो में बैठाकर इको गार्डेन ले जाया गया, जहां वे भारी बारिश में पानी में भीगते रहे।
इस बीच, सपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता राजेन्द्र चौधरी ने ‘पीटीआई-भाषा’ को बताया कि पार्टी को 14 से 18 सितम्बर तक विधानभवन परिसर में चौधरी चरण सिंह की प्रतिमा के समक्ष धरना-प्रदर्शन करना था मगर अब उस कार्यक्रम को निरस्त कर दिया गया है। उन्होंने बताया कि अब 19 सितंबर को पार्टी अध्यक्ष अखिलेश यादव के नेतृत्व में दल के सभी विधायक मानसून सत्र की कार्यवाही में हिस्सा लेने के लिये पार्टी कार्यालय से विधान भवन तक पैदल मार्च करेंगे।