आयुर्वेद के मुताबिक, दही की तासीर गर्म होती है। इस वजह से गर्मी में कुछ लोगों को इसे खाने से कील-मुंहासे, एलर्जी, पाचन समस्याएं या शरीर में गर्मी महसूस हो सकती है।
इस मौसम में अगर आप सही तरीके से इसका सेवन करेंगे, तो आपको ये परेशानियां नहीं होंगी।
आप दही में पानी मिलाकर (छाछ या लस्सी बनाकर) खा सकते हैं। इसे इसकी तासीर संतुलित हो जाती है।
दही को अच्छी तरह फेंटकर खाने से शरीर को ठंडक मिलती है और पाचन में आसानी होती है।
दही को आंवले के पाउडर, देसी घी, मिश्री या फिर हरी मूंग के साथ खा सकते हैं।
दही को दिन में खाना चाहिए, लंच के साथ आप दही, रायता या फिर छाछ ले सकते हैं।
आयुर्वेद के अनुसार, रात के समय दही खाना सेहत के लिए अच्छा नहीं होता है।
दिन में दही खाने से पाचन अच्छा होता है। वहीं रात में इसे खाने से पित्त(पित्त दोष का पीरियड्स पर असर) और कफ दोष बढ़ सकता है।
दही को सर्दी के सीजन में खाना सबसे अच्छा रहता है। हालांकि अक्सर लोग गर्मियों में दही खाना सबसे बेस्ट मानते हैं क्योंकि इसे ठंडा माना जाता है।