हाइलाइट्स
- लखनऊ यूनिवर्सिटी ने प्रोफेसर माद्री काकोटी को नोटिस जारी किया।
- सोशल मीडिया पोस्ट को लेकर छात्रों ने प्रोफेसर के खिलाफ विरोध किया।
- प्रोफेसर माद्री काकोटी ने 5 दिनों में स्पष्टीकरण देने का आश्वासन दिया।
Dr. Madri kakoti controversy: लखनऊ यूनिवर्सिटी की असिस्टेंट प्रोफेसर डॉ. माद्री काकोटी सोशल मीडिया पोस्ट को लेकर विवादों में घिर गई हैं। पहलगाम हमले के अगले दिन किए गए उनके एक पोस्ट और वीडियो क्लिप के वायरल होने के बाद विश्वविद्यालय प्रशासन ने उन्हें कारण बताओ नोटिस जारी किया है। विश्वविद्यालय ने 5 दिनों के भीतर स्पष्टीकरण देने को कहा है, अन्यथा अनुशासनात्मक कार्रवाई की चेतावनी दी गई है।
क्या है मामला?
डॉ. माद्री काकोटी ने पहलगाम आतंकी हमले के एक दिन बाद सोशल मीडिया पर लिखा, “धर्म देखकर बुलडोजर चलाना भी आतंकवाद है। धर्म पूछकर घर न देना भी आतंकवाद है। असली आतंकी को पहचानो।” इसके साथ उन्होंने एक वीडियो भी साझा किया जिसमें उन्होंने मीडिया और सरकार की आलोचना करते हुए कहा कि “27 आम हिंदुस्तानियों की मौत पर भी मीडिया टीआरपी बटोरने में लगी है, और कोई जिम्मेदारों से सवाल नहीं कर रहा।”
इस पोस्ट को पाकिस्तान के एक X (पूर्व ट्विटर) हैंडल PTI प्रमोशन से भी रीपोस्ट किया गया, जिससे विवाद और गहरा गया।
छात्रों का हंगामा, कार्रवाई की मांग
प्रोफेसर के पोस्ट के बाद लखनऊ यूनिवर्सिटी में छात्र संगठनों, विशेष रूप से ABVP से जुड़े छात्रों ने जमकर विरोध किया। सोमवार को हुए प्रदर्शन में छात्रों ने कहा कि “देशविरोधी विचार रखने वाली प्रोफेसर को हटाया जाए। हमें ऐसे शिक्षकों से आजादी चाहिए।” छात्रों ने कुलपति प्रो. आलोक कुमार राय से मुलाकात कर FIR और सख्त कार्रवाई की मांग की।
छात्रों के दबाव पर हसनगंज थाने में प्रोफेसर के खिलाफ FIR भी दर्ज की गई है।
विश्वविद्यालय की प्रतिक्रिया
रजिस्ट्रार विद्यानंद त्रिपाठी की ओर से जारी नोटिस में कहा गया है कि “आपका यह पोस्ट विश्वविद्यालय और देश की छवि को धूमिल करने वाला है। आतंकवाद आज वैश्विक संकट है और ऐसे समय में आपके विचार अनुचित हैं।” डॉ. माद्री काकोटी ने मीडिया से बातचीत में कहा कि “मैं तय समय में अपना जवाब प्रस्तुत करूंगी।”
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