प्रदेश में व्हाइट फंगस के दो मरीज, जबलपुर व ग्वालियर में आए केस

भोपाल: ब्लैक फंगस के बाद अब मध्य प्रदेश में भी व्हाइट फंगस बीमारी ने दस्तक दे दी है। जबलपुर और ग्वालियर में दो मरीज मिले हैं। डॉक्टर्स ने बताया कि जबलपुर वाले मरीज की हालत फिलहाल खतरे से बाहर है, वहीं ग्वालियर के मरीज का ऑपरेशन करके व्हाइट फंगस के टिश्यू को निकाल दिया है।
कोविड मरीज जबलपुर में मेडिकल कॉलेज अस्पताल में भर्ती
गुोश्वर निवासी 55 वर्षीय पोस्ट कोविड मरीज हैं उन्हें शुक्रवार को मेडिकल कॉलेज में ईएनटी विभागाध्यक्ष डॉ. कविता सचदेवा ने बताया कि संक्रमित मरीज को कुछ दिन से आधे सिर और आंख में दर्द की शिकायत थी जिसके बाद उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया और जांच में व्हाइट फंगस की पुष्टि हुई है।
ग्वालियर में ऑपरेशन करके व्हाइट फंगस का टिश्यू निकाल दिया गया
ग्वालियर में डबरा के रहने वाले 25 वर्षीय युवक को ब्लैक फंगस की शिकायत थी, जिसका जयारोग्य अस्पताल के डॉक्टरों ने शनिवार को ऑपरेशन किया। ऑपरेशन के दौरान ब्लैक फंगस के साथ व्हाइट फंगस का टिश्यू भी मिला, उसे भी निकाल दिया गया। व्हाइट फंगस के टिश्यू को बायोप्सी के लिए लैब भेज दिया है। हालांकि ईएनटी विभागध्यक्ष डॉ. वीपी नार्वे का कहना है कि क्लीनिकल जांच में व्हाइट फंगस की पुष्टि हो गई है।
व्हाइट फंगस के दो रूप
व्हाट फंगस के दो रूप होते हैं, कैंडिंडा और एस्परजिलस। कैंडिंडा घातक होता है जिससे त्वचा में इन्फेक्शन, मुंह में छाले, छाती में संक्रमण, अल्सर जैसी समस्या हो सकती है। जबकि, एस्परजिलस कम घातक होता है। इसका संक्रमण फेफड़ों, सांस नली, आंख की कार्निया को प्रभावित करता है। इससे अंधत्व का खतरा रहता है।