Sankashti Chaturthi August 2023: सनातन हिन्दू पंचांग के अनुसार एक साल में कुल 12 संकष्टी चतुर्थी (Sankashti Chaturthi) होते हैं। चूंकि साल 2023 में सावन का अधिकमास भी है, तो इस साल कुल 13 संकष्टी चतुर्थी व्रत रखे जाएंगे। आइए जानते हैं, संकष्टी चतुर्थी क्या है (Sankashti Chaturthi Kya Hai) और इस व्रत का महत्व क्या है?
संकष्टी चतुर्थी क्या है – Sankashti Chaturthi Kya Hai
दरअसल, हिन्दू पंचांग के अनुसार एक मास (महीना) के दो भाग यानी पक्ष होते हैं, एक शुक्ल पक्ष और दूसरा कृष्ण पक्ष। प्रत्येक पक्ष में एक-एक चतुर्थी तिथि होती है। यानी, एक महीने में दो-दो चतुर्थी तिथियां होती है।
इसमें से शुक्ल पक्ष की चतुर्थी तिथि को ‘विनायक चतुर्थी’ कहते हैं और दूसरे पक्ष यानी कृष्ण पक्ष की चतुथी को ‘संकष्टी चतुर्थी’ कहते हैं।
संकष्टी चतुर्थी व्रत का महत्व – Sankashti Chaturthi Significance
बता दें, हिन्दू पंचांग की चतुर्थी तिथि का संबंध पथम पूज्य भगवान श्री गणेश से है। इस तिथि को रखा गया व्रत और पूजन विशेष महत्व रखता है। आइए जानते हैं, संकष्टी चतुर्थी के महत्व और इस व्रत और पूजा के लाभों के बारे में:
सद्गुण, बुद्धि-चातुर्य में वृद्धि
संकष्टी चतुर्थी व्रत के दिन श्री गणेश पूजन सद्गुण, बुद्धि, संवाद और विज्ञान के ज्ञान में वृद्धि होती है। साधक को हर कार्य में सफलता प्राप्त होती है।
आपत्तियों का नाश
संकष्टी चतुर्थी का व्रत रखने और भगवान गणेश की पूजा से व्यक्ति की सभी आपत्तियों और विघ्नों का नाश हो जाता है। जीवन सुखमय और धन-धान्य से भर जाता है।
विघ्नों से मुक्ति
भगवान श्री गणेश विघ्नहर्ता हैं। वे मांगलिक फल देते हैं यानी वे जीवन में आने वाली सभी समस्याओं और विघ्नों को हर लेते हैं और अपना अभयदान देते हैं।
नए काम का शुभारंभ
यह व्रत उन लोगों के लिए विशेष रूप से महत्वपूर्ण है, जो नए कार्य की शुरुआत करना चाहते हैं। क्योंकि, विघ्नहर्ता श्री गणेश नए कार्य में सफलता प्राप्त को सुनिश्चित करते हैं। इसलिए नए प्रोजेक्ट्स, नौकरी या अन्य नए उद्यम में सफलता प्राप्त करने के लिए यह पूजन किया जाता है।
बच्चों में आरोग्य और आयु वृद्धि
स्त्रियाँ इस व्रत को बच्चों के मानसिक और शारीरिक स्वास्थ्य में सुधार लिए रखती हैं। भगवान श्री गणेश की की कृपा से बच्चों को कल्याण की प्राप्ति होती है।
संकष्टी चतुर्थी व्रत कैसे करें – Sankashti Chaturthi Vrak Kaise Karen
यह व्रत गणेशजी का एक प्रिय व्रत है। भक्त और साधक इस दिन व्रत और उपवास रखते है।
घर के दक्षिण और पश्चिम दिशा के मध्य के स्थान यानी नैऋत्य दिशा या नैऋत्य कोण में भगवान श्री गणेश की प्रतिमा या चित्र रख कर उनके गणेश स्तोत्र का पाठ और जाप करते हैं।
संकष्टी चतुर्थी मंत्र- Sankashti Chaturthi Mantra
यदि आप संकष्टी चतुर्थी का व्रत रखते हैं और इस पावन दिन को श्री गणेश भगवान की पूजा करते हैं, आपको इन गणेश मंत्रों से विघ्ननाशक एकदंत श्री गणेश की पूजा करनी चाहिए:
गणेश मंत्र – 1
ॐ गं गणपतये नम:
Om Gan Ganapataye Namah
गणेश मंत्र – 2
ॐ नमो हेरम्ब मद मोहित मम् संकटान निवारय-निवारय स्वाहा
Om Namo Heramb Mad Mohit Mam Sankatan Nivaraya-Nivaraya Swaha
गणेश मंत्र – 3
ॐ वक्रतुण्डाय हुं
Om Vakratundaya Hum
गणेश मंत्र – 4
ॐ श्रीं ह्रीं क्लीं ग्लौं गं गणपतये वर वरद सर्वजनं मे वशमानय स्वाहा
Om Shree Hree Kleen Glaun Gam Ganapataye var Varad Sarvajanam Me Vashmanay Swaha
गणेश मंत्र – 5
सिद्ध लक्ष्मी मनोरहप्रियाय नमः
Siddha Lakshmi Manorahpriya Namah
गणेश मंत्र – 6
ॐ श्रीं गं सौभाग्य गणपतये।
वर्वर्द सर्वजन्म मे वशमान्य नम:।।
Om Shree Gan Saubhagya Ganapataye.
Varvad Sarvajanm Me Vashmanya Namah.
विशेष गणेश वंदना मंत्र
संकष्टी चतुर्थी के दिन इस मंत्र से भगवान गणेश की वंदना करें:
गजाननं भूत गणादि सेवितं, कपित्थ जम्बू फल चारू भक्षणम्।
उमासुतं शोक विनाशकारकम्, नमामि विघ्नेश्वर पाद पंकजम्।।
Gajananam Bhoot Ganadi Sevitam, Kapittha Jambu Phal Charu Bhakshanam.
UmasutanShok Vinashkarakam, Namami Vighneshwar Pad Pankajam.
ये भी पढ़ें:
>> Shravan Somvar: शिव आराधना के 10 शक्तिशाली मंत्र, इस सावन हर सोमवार को करें इनका जाप, होंगे ये लाभ
>> Powerful Vishnu Mantra: ॐ नमो भगवते वासुदेवाय नमः मंत्र जाप के लाभ, वृहस्पतिवार को है विशेष फलदायी
>> Nag Panchami 2023: सर्प बाधा दूर करने के लिए नागपंचमी पर करें ये उपाय, जपें ये मंत्र
>> Black Magic Vastu Tips: कहीं आपके घर में भी तो नहीं काला जादू! इन वास्तु टिप्स से करें बचाव
Sankashti Chaturthi August 2023, संकष्टी चतुर्थी क्या है, संकष्टी चतुर्थी, Sankashti Chaturthi, Sankashti Chaturthi 2023, sankashti chaturthi, sankashti chaturthi kya hai