ऑपरेशन सिंदूर के बाद भारत ने एक बार फिर पाकिस्तान को बेनकाब कर दिया… दुनियाभर के 50 से ज्यादा मुस्लिम देशों में से सिर्फ तुर्किये और अजरबैजान ही ऐसे देश हैं… जिन्होंने खुलकर पाकिस्तान का सपोर्ट किया… तुर्किए और पाकिस्तान के रिश्ते दशकों पुराने हैं… तुर्किए के राष्ट्रपति रेचेप तैयप एर्दोआन की सरकार इस्लामी दुनिया में अपनी मजबूत स्थिति बनाने की कोशिश में लगातार पाकिस्तान का साथ देती रही है… कश्मीर मुद्दे पर एर्दोआन के बयानों को इसी रणनीति का हिस्सा माना जाता है… वहीं अजरबैजान और पाकिस्तान के रिश्ते पिछले कुछ वर्षों में और भी गहरे हुए हैं… नागोर्नो-कराबाख संघर्ष में पाकिस्तान ने खुलकर अजरबैजान का साथ दिया था… बदले में कश्मीर मुद्दे पर अजरबैजान पाकिस्तान के समर्थन में बयान देता रहा है… ज्यादातर इस्लामिक देश या तो खामोश रहे या भारत के साथ कूटनीतिक संतुलन बनाए रखा… सऊदी अरब, यूएई, मिस्र और दूसरे खाड़ी देशों ने इस बार पाकिस्तान का साथ नहीं दिया… बल्कि भारत के साथ अपने आर्थिक और रणनीतिक संबंधों को प्राथमिकता दी… भारत इन देशों के लिए ऊर्जा, निवेश और तकनीक के क्षेत्र में एक विश्वसनीय साझेदार बनकर उभरा है…