Advertisment

छुट्टियां खत्म होते ही खिलेंगे किसानों के चेहरे: तीन दिन में आएगा धान की कीमतों में उछाल, ये है वजह

Dhan Price Hike: बासमती चावल से निर्यात शुल्क हटने के बाद पहली बार 18 सितंबर को कारोबार होगा। इससे धान की कीमतों में उछाल आ जाएगा।

author-image
Rahul Sharma
Dhan-Price-in-MP

Dhan Price Hike: छुट्टियां खत्म होते ही किसानों के चेहरे खिलने वाले हैं। इसकी वजह है धान की कीमतों में आने वाला उछाल। भारत सरकार ने बासमती चावल पर लगने वाला न्यूनतम निर्यात शुल्क 13 सितंबर, शुक्रवार को हटा लिया।

Advertisment

इससे इंटरनेशनल मार्केट में भारत के बासमती चावल की डिमांड बढ़ेगी। जिसका सीधा फायदा किसानों को होगा। 14 सितंबर, शनिवार और फिर 15 सितंबर रविवार के कारण कारोबार बंद रहा।

वहीं 16 सितंबर ईद मिलादुन्नबी और फिर 17 सितंबर को अनंत चतुर्दशी की छुट्टी है। मंडी में व्यापार 18 सितंबर को होगा। बासमती चावल से निर्यात शुल्क हटने के बाद 18 सितंबर को कारोबार होगा। उम्मीद है कि पहले ही दिन धान की कीमतों में उछाल आ जाएगा।

3100 से ऊपर जाएंगे धान के रेट

अभी मार्केट में 2800 रुपये के आसपास धान के रेट है। निर्यात शुल्क होने से मंडी में भाव चढ़ेंगे। जानकार मानते हैं कि तीन दिन बाद जब मंडी खुलेगी तो धान के रेट 3100 रुपये प्रति क्विंटल के रेट क्रॉस कर जाएंगे।

Advertisment

मध्य प्रदेश में धान की फसल 15 अक्टूबर के बाद आती है। उस समय रेट में और तेजी आने की संभावना है।

बासमती चावल का सबसे बड़ा उत्पादक और निर्यातक है भारत

भारत, दुनिया में बासमती चावल का सबसे बड़ा उत्पादक और निर्यातक है। साल 2023-24 में भारत ने बासमती चावल के निर्यात से 48,389.2 करोड़ रुपये की कमाई की। साल 2022-23 में यह कमाई 38,524.1 करोड़ रुपये थी।

यानी एक साल में बासमती चावल के निर्यात से 9,865.1 करोड़ रुपये की कमाई बढ़ी। भारत का बासमती चावल का कुल निर्यात 2022-23 में कीमत के लिहाज से 4.8 अरब डॉलर रहा। जबकि मात्रा के लिहाज से यह 45.6 लाख टन था।

Advertisment

ये भी पढ़ें: हे राम: खाद्य पदार्थों की पैकेजिंग पर भगवान की फोटो छापने पर विवाद, इस समिति ने खोला मोर्चा!

भारत के बासमती चावल के कुछ और आंकड़े

1.साल 2022-23 में भारत ने 45.6 लाख टन बासमती चावल का निर्यात किया था।
2.भारत में सालाना बासमती चावल का उत्पादन लगभग 8-12 मिलियन टन होता है।
3.भारत के बासमती चावल के मुख्य खरीदार ईरान, इराक़, और सऊदी अरब हैं।
4.भारत के चावल निर्यात में गैर-बासमती चावल की हिस्सेदारी ज्यादा है।
5.साल 2022 में भारत ने 17.86 मिलियन टन नॉन-बासमती चावल का निर्यात किया था।

ये भी पढ़ें: Fasal Bima Yojana: किसानों के लिए बड़ी खबर, एक कॉल में मिलेगा फसल बीमा से जुड़ी समस्‍या का हल, जारी किया टोल फ्री नबंर

Advertisment

एक साल पहले इसलिए लगाया था निर्यात शुल्क

27 अगस्त 2023 में घरेलू चावल की कमी और कीमतों में बढ़ोतरी को देखते हुए सरकार ने बासमती चावल के निर्यात पर अस्थायी रूप से 1,200 अमेरिकी डॉलर प्रति मीट्रिक टन का न्यूनतम मूल्य तय किया था।

इसके पीछे मकसद था कि गैर-बासमती चावल को बासमती के रूप में निर्यात करने की संभावनाओं को रोका जा सके। इसके बाद अक्टूबर 2023 में व्यापारिक संगठनों और हितधारकों की मांग पर इसे घटाकर 950 अमेरिकी डॉलर प्रति मीट्रिक टन किया गया।

Dhan Price in MP Paddy Commodity Paddy Price Hike Basmati Rise prices rise Export duty removed
Advertisment
WhatsApp Icon चैनल से जुड़ें