जयपुर, 14 जनवरी (भाषा) राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने बृहस्पतिवार को कहा कि राज्य के आदिवासी क्षेत्र के महापुरूषों ने देश की आजादी तथा सामाजिक चेतना जागृत करने में बड़ी भूमिका निभाई है।
गहलोत ने कहा कि इस अंचल के गौरवपूर्ण इतिहास पर हम सभी को गर्व है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार आदिवासी समाज के त्याग व बलिदान की गौरव गाथाओं को जन-जन तक पहुंचाने के साथ ही इस अंचल के विकास में कोई कमी नहीं रखेगी।
गहलोत वीडियो कांफ्रेस के जरिए बांसवाड़ा नगर परिषद परिसर में भील राजा बांसिया की प्रतिमा के अनावरण समारोह को संबोधित कर रहे थे। मुख्यमंत्री ने कहा कि मानगढ़ धाम पर गोविन्द गुरु के नेतृत्व में जुटे सैकड़ों आदिवासी भाई-बहनों ने देश के लिए जो शहादत दी, उसे कोई नहीं भूल सकता। उन्होंने कहा कि मावजी महाराज की शिक्षाओं तथा नानाभाई खांट, कालीबाई, मामा बालेश्वर दयाल, भीखाभाई भील, हरिदेव जोषी व हरिभाऊ उपाध्याय सहित अन्य महापुरूषों के योगदान को हम सभी आज भी बड़े गर्व से याद करते हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा, ‘‘जब-जब हमारी सरकार बनी आदिवासी समाज को केन्द्र में रखकर फैसले किए गए। उसी का परिणाम है कि यह (आदिवासी उपयोजना या टीएसपी) क्षेत्र शिक्षा, स्वास्थ्य, बिजली, सड़क, चिकित्सा सहित अन्य क्षेत्रों में विकास के नए आयाम स्थापित कर रहा है। बांसवाड़ा में इंजीनियरिंग कालेज व गोविन्द गुरु जनजातीय विश्वविद्यालय, डूंगरपुर में मेडिकल कॉलेज जैसी उच्च शिक्ष्ण संस्थाएं स्थापित की गईं। हम यहां के युवाओं को आगे बढ़ाने के लिए शिक्षा और रोजगार के अवसर उपलब्ध कराने के लिए प्रतिबद्धता से काम कर रहे हैं।’’
नगरीय विकास मंत्री शांति धारीवाल ने कहा कि भील राजा बांसिया की प्रतिमा से नई पीढ़ी को प्रेरणा मिलेगी। उन्होंने कहा कि बांसवाड़ा में 320 करोड़ रुपये से पेयजल व सीवरेज की महत्वाकांक्षी योजना पर जल्द काम शुरू किया जा रहा है। इसका लाभ यहां की करीब एक लाख की आबादी को मिलेगा।
जनजाति क्षेत्रीय विकास राज्यमंत्री अर्जुन सिंह बामनिया ने कहा कि टीएसपी क्षेत्र के युवाओं को कोचिंग तथा शिक्षा के माध्यम से आगे बढ़ने के बेहतर अवसर प्रदान किए जा रहे हैं।
भाषा पृथ्वी कुंज अमित
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