सागर। सरकार द्वारा चलाई जा रही पीएम आवास योजना का लाभ देश के नागरिक उठा रहे हैं। लेकिन कोरोना महामारी के दौरान किस्त जारी होने के बावजूद कई लोग अपना घर बनाने में असमर्थ थे। कारण था कुशल वर्करों का न मिलना। ऐसे में कई नागरिकों ने अपने परिवार के ही सहयोग से अपने सपनों के घर को आकार दे दिया। इनमें से एक हैं सागर जिले के रहली निवासी महेश पांडेय।
पति-पत्नी ने मिलकर बनाया मकान
पांडेय पेशे से प्राइवेट टीचर हैं, सैलरी 1900 रुपए महीना। पांडेय ने बताया कि कोरोना महामारी के दौरान 20 अगस्त 2020 पीएम आवस योजना की पहली किस्त आ गई थी, लेकिन इस दौरान मजदूरों की कमी के कारण पति-पत्नी दोनों ने मिलकर अपना पुराना मकान तोड़ा और नया बनाया। कोरोना काल में बोरोजगारी थी। इसीलिए पुराने टूटे हुए मकान के ही सामना को उपयोग में लेते हुए पहली किस्त 1 लाख रुपए में ही 5 कमरों की हाइट पूरी कर ली। वहीं दूसरी किस्त में लेंटर करा लिया। अब उनकी तीसरी किस्त 50 हजार रुपए अभी आना बाकी है।
मंत्री ने किया सम्मान
जब पांडेय व उनके परिवार के इस कार्य की जानकारी मंत्री गोपाल भार्गव को लगी तो उन्होंने पांडेय को एक कार्यक्रम के दौरान मंच पर बुलाकर सम्मानित किया। वहीं उनके द्वारा किए गए इस कार्य के लिए उन्हें मंच से ही बोलने का मौका दिया। इस दौरान उन्होंने सरकार द्वारा चलाई जा रही पीएम आवास योजना के लिए सरकार को धन्यवाद दिया। उन्होंने कहा कि यह गरीबों के लिए बहुत बड़ी योजना है। पांडेय ने बताया कि वे प्रधान मंत्री के आत्मनिर्भर भारत की सोच से प्रेरित हैं। उन्होंने मकान बनाने के लिए न ही एक मिस्त्री लगाया न ही लेबर। खुद और परिवार ने मिलकर मकान तैयार कर लिया।