हाइलाइट्स
- MP विधानसभा की कार्यवाही अनिश्चितकाल के लिए स्थगित।
- विधानसभा में अब तक का सबसे बड़ा बजट पास हुआ।
- 4 लाख 21 हजार करोड़ रूपये का बजट पास हुआ।
MP Budget Session 2025: मध्यप्रदेश विधानसभा का बजट सत्र सोमवार को अनिश्चितकाल के लिए स्थगित कर दिया गया। सत्र के अंतिम दिन विधानसभा ने राज्य के इतिहास का सबसे बड़ा बजट (4 लाख 21 हजार करोड़ रुपये) पारित किया। मुख्यमंत्री मोहन यादव ने घोषणाओं के साथ सदन को संबोधित किया।
नगर एवं ग्राम निवेश विधेयक पारित
सदन में नगर और ग्राम निवेश संशोधन विधेयक पारित हुआ। नगरीय विकास मंत्री कैलाश विजयवर्गीय ने कहा कि यह विधेयक किसानों की जमीन की कीमत बढ़ाने के लिए लाया गया है, जिसमें मुआवजे या मास्टर प्लान का जिक्र नहीं है। विपक्ष के नेता उमंग सिंघार ने इसका विरोध करते हुए कहा कि किसानों के शोषण को रोकने के लिए मुआवजा नीति स्पष्ट होनी चाहिए।
मुख्यमंत्री की प्रमुख घोषणाएं
- मुख्यमंत्री कृषक उन्नत योजना के लिए 850 करोड़ रुपये।
- डेयरी विकास योजना के लिए 50 करोड़ रुपये।
- सोलर पंप योजना के लिए 442 करोड़ रुपये।
- अवसंरचना एवं पर्यटन
- प्रदेश के बजट का 17% अवसंरचना विकास के लिए आवंटित।
- हर विधानसभा में मल्टीपरपज स्पोर्ट्स स्टेडियम बनाया जाएगा।
- गीता भवन, वृंदावन ग्राम योजना (100 करोड़), श्री कृष्ण पाथेय योजना (100 करोड़) को मंजूरी।
- अविरल निर्मल नर्मदा योजना को भी बजट में शामिल किया गया।
भविष्य की योजनाएं
- 5 वर्षों में बजट को दोगुना करने का लक्ष्य।
- 2047 तक प्रदेश का बजट 250 लाख करोड़ तक पहुंचाने का लक्ष्य।
मुआवजा नीति पर सीएम ने कहा
मुख्यमंत्री मोहन यादव ने कहा कि अब हम किसानों को मुआवजा देने के बजाय उन्हें विकास का भागीदार बना रहे हैं। उन्होंने कहा कि सदन की कार्यवाही सुचारु रही और यह एक सकारात्मक परंपरा है।
स्पीकर तोमर ने दी गुड़ी पड़वा की बधाई, नेता प्रतिपक्ष ने जताया आभार
बजट सत्र के समापन पर विधानसभा अध्यक्ष नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा कि इस सत्र के दौरान सदन की कार्यवाही 56 घंटे से अधिक समय तक चली, जिसमें सत्ता पक्ष और विपक्ष दोनों को अपने विचार रखने का अवसर मिला। उन्होंने आगामी गुड़ी पड़वा और चैत्र नवरात्रि की प्रदेशवासियों को बधाई दी।
नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने सत्र की सुचारू कार्यवाही के लिए स्पीकर का आभार जताया और कहा, “हमारे बीच कभी मनभेद नहीं, मतभेद थे… लेकिन आपके द्वारा आयोजित होली मिलन समारोह ने इन्हें भी खत्म कर दिया।” उन्होंने कांग्रेस विधायक दल की ओर से मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव को उनके जन्मदिन की अग्रिम बधाई भी दी।
सत्र के दौरान सरकार और विपक्ष के बीच जोरदार बहस हुई, लेकिन अंत में सौहार्दपूर्ण माहौल बना रहा। अब विधायकों ने अपने-अपने क्षेत्रों का दौरा शुरू कर दिया है।सहकारी समिति संशोधन विधेयक पर विवाद
मंत्री विश्वास सारंग द्वारा प्रस्तुत मध्यप्रदेश सहकारी समिति संशोधन विधेयक 2025 को कांग्रेस ने सहकारिता आंदोलन की अंत्येष्टि बताया। विधायक सचिन यादव ने कहा कि पिछले 20 वर्षों में सहकारिता को कुचला गया है। भंवर सिंह शेखावत ने आरोप लगाया कि सरकार ने सहकारी संस्थाओं को अधिकारियों के हवाले कर दिया है। विरोध के बीच विधेयक पारित हो गया, जिसके बाद कांग्रेस ने वॉकआउट किया।
भाजपा ने मालवीय को जारी किया शो-कॉज नोटिस
विधायक चिंतामणि मालवीय ने 18 मार्च को विधानसभा में उज्जैन सिंहस्थ क्षेत्र में जमीनों के स्थायी अधिग्रहण पर सवाल उठाए थे। उन्होंने कहा था कि किसानों को आशंका है कि यह कॉलोनाइजर्स और भू-माफिया का षड्यंत्र हो सकता है।
उन्होंने यह भी कहा था कि कोई व्यक्ति दस या बीस हजार करोड़ कमा सकता है, लेकिन याद रखे कि कफन में जेब नहीं होती। इस मामले की जानकारी केंद्रीय नेतृत्व तक पहुंची और प्रदेश नेतृत्व की ओर से मालवीय को कारण बताओ नोटिस जारी किया गया।
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नेता प्रतिपक्ष ने सरकार पर उठाए सवाल
नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने कहा कि सरकार युवाओं को नौकरियां देने, पीएससी छात्रों की समस्याएं सुलझाने या किसानों को खाद और कर्ज मुहैया कराने जैसे आम जनता के मुद्दों पर बात नहीं करना चाहती। उन्होंने आरोप लगाया कि सरकार कर्ज लेकर घी पी रही है और बड़े-बड़े इवेंट करा रही है, लेकिन आम जनता के लिए पैसे नहीं हैं।
सिरोंज विधायक ने वेतन-पेंशन न लेने का किया ऐलान
शुक्रवार को विधानसभा में नगरीय विकास विभाग और राज्य विधानमंडल की अनुदान मांगों पर चर्चा के दौरान सिरोंज विधायक उमाकांत शर्मा ने कहा था कि वे विधायक के रूप में विधानसभा से वेतन नहीं लेंगे। आज उन्होंने विधानसभा अध्यक्ष नरेंद्र सिंह तोमर को इस संबंध में पत्र सौंपा है कि उनके खाते में विधानसभा से वेतन न भेजा जाए। साथ ही, भविष्य में वे पेंशन लेने के भी इच्छुक नहीं हैं।
मालवीय ने कहा- तथ्यों के आधार पर दूंगा जवाब
आलोट से भाजपा विधायक चिंतामणि मालवीय ने फिर से कहा कि वे भाजपा के प्रतिबद्ध कार्यकर्ता हैं और जो कुछ उन्होंने कहा, वह सदन के अंदर का विषय है। उन्होंने बताया कि अभी तक उन्हें पार्टी की ओर से कोई नोटिस प्राप्त नहीं हुआ है। यदि नोटिस मिलता है, तो वे तथ्यों के आधार पर पार्टी को जवाब देंगे। उन्होंने कहा कि यह पार्टी का आंतरिक मामला है और इस पर टिप्पणी करने की आवश्यकता नहीं है।
सिंघार ने कहा- सरकार जनता के मुद्दों पर करे बात
नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने कहा कि सरकार को युवाओं को नौकरियां देने, पीएससी छात्रों की समस्याएं सुलझाने और किसानों को खाद व कर्ज मुहैया कराने जैसे आम जनता के मुद्दों पर बात करनी चाहिए। उन्होंने कहा कि सरकार कर्ज लेकर घी पी रही है और बड़े-बड़े इवेंट करा रही है, लेकिन आम जनता के लिए पैसे नहीं हैं।
उन्होंने आलोट से भाजपा विधायक चिंतामणि मालवीय को पार्टी की ओर से जारी शो-कॉज नोटिस पर कहा कि यह उनका आंतरिक मामला है, लेकिन यदि कोई विधायक विधानसभा में किसानों की बात उठा रहा है, तो सरकार को तत्काल इस पर ध्यान देना चाहिए। उन्होंने मांग की कि उज्जैन में किसानों को बाजार भाव के अनुसार मुआवजा दिया जाना चाहिए।
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