Bhopal Property Rate Hike: भोपाल में 1 अप्रैल 2025 से प्रॉपर्टी दरों में औसतन 18% की वृद्धि होने जा रही है। इससे पहले ही रजिस्ट्री कार्यालयों में भारी भीड़ देखने को मिल रही है।
छुट्टियों के दिन भी कार्यालय देर रात 10 बजे तक खुले हुए हैं और लगातार रजिस्ट्री का काम किया जा रहा है। अधिकारियों के अनुसार, पहले जहां प्रतिदिन 300-400 रजिस्ट्रियां होती थीं, वहीं अब यह संख्या बढ़कर 1200-1500 प्रतिदिन तक पहुंच गई है।
क्यों बढ़ी भीड़?
वर्तमान समय को प्रॉपर्टी खरीद के लिए सबसे उपयुक्त माना जा रहा है, क्योंकि नई गाइडलाइन लागू होने के बाद दामों में उछाल आने की संभावना है। कलेक्टर द्वारा प्रस्तावित नई दरों में शहर की 1283 लोकेशन्स को शामिल किया गया है, जहां दरों में 5% से लेकर 300% तक की वृद्धि हो सकती है। इसके चलते प्रॉपर्टी बाजार में हलचल बढ़ गई है और क्रेडाई सहित कई रियल एस्टेट संगठनों ने इसका विरोध किया है।
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अगले दो दिन और बढ़ेगी दबाव
रजिस्ट्री विभाग ने भीड़ को नियंत्रित करने के लिए अपने परिचालन समय को बढ़ा दिया है। जिला उप-पंजीयक आरके गुप्ता के अनुसार, 30 और 31 मार्च को रजिस्ट्री की संख्या 2000 प्रतिदिन तक पहुंच सकती है, क्योंकि लोग मौजूदा दरों पर जल्द से जल्द संपत्ति खरीदना चाहते हैं।
क्या कहती है नई गाइडलाइन?
केंद्रीय मूल्यांकन बोर्ड ने जिला प्रशासन द्वारा भेजी गई गाइडलाइन रेट्स को स्वीकार कर लिया है, जो 1 अप्रैल से लागू होगी। हालांकि, क्रेडाई भोपाल के अध्यक्ष मनोज सिंह मीक ने इस पर आपत्ति जताते हुए कहा कि यह प्रक्रिया वैज्ञानिक और पारदर्शी नहीं है। उन्होंने बताया कि सुप्रीम कोर्ट के आदेश के अनुसार, सर्किल रेट्स का निर्धारण वास्तविक बाजार मूल्य के आधार पर होना चाहिए, न कि अनुमानों पर।
तीन मुख्य मुद्दे
- पारदर्शिता का अभाव- दरों में वृद्धि के औचित्य का कोई सार्वजनिक रिकॉर्ड उपलब्ध नहीं है।
- उपबंधों में कोई बदलाव नहीं- इससे अप्रत्याशित वित्तीय बोझ बना रहेगा।
- वास्तविक मांग न होने के बावजूद वृद्धि- इससे आवास योजनाएं भी प्रभावित हो सकती हैं।
क्रेडाई की मांग
क्रेडाई ने सरकार से आग्रह किया है कि दरों की समीक्षा एक स्वतंत्र विशेषज्ञ समिति द्वारा कराई जाए, डेटा को सार्वजनिक किया जाए और जब तक प्रक्रिया पारदर्शी नहीं हो जाती, तब तक किसी भी वृद्धि को स्थगित किया जाए।
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