Kamal Nath Attack On MP Government : कमलनाथ ने कहा तीन महीने से सोती रही सरकार,दुनिया में दूसरी लहर आ रही तब कहां थे ?

भोपाल। नेता प्रतिपक्ष कमलनाथ ने कोविड़ kamal nath attack on mp government की व्यवस्थाओं को लेकर सरकार पर नाकामी का आरोप लगाया है। कमलनाथ ने कहा कि पिछले तीन महीने से दुनियाभर के देशों में दूसरी लहर की खबरें आ रही थीं, लेकिन सरकार सोती रही व्यवस्थाएं नहीं की गईं। अब जब कोरोना बढ़ रहा है तब बीजेपी सरकार व्यवस्थाएं जुटाने में लगी है, लेकिन लोग परेशान हो रहे हैं। इसके साथ ही कमलनाथ ने बताया कि रेमडेसिविर इंजेक्शन की किल्लत दूर करने के लिए उन्होंने कंपनियों से बात की है और दमोह रोड शो में मास्क नहीं पहनने के आरोपों को खारिज किया।
It is in today's newspapers. Records of crematoriums tell everything. They are just misleading everyone to hide their failure. It's a murder. State is reporting 9,000 cases every day. This is when testing is limited: Ex-Madhya Pradesh Chief Minister & Congress leader Kamal Nath pic.twitter.com/aleyxbA9iM
— ANI (@ANI) April 15, 2021
कमलनाथ ने कहाकि मुझे दुख है कि मध्य प्रदेश में कोरोना के इतनी गंभीर स्थिति उत्पन्न हुई है, लेकिन इसकी कोई प्लानिंग नहीं थी, आज न दवाई है, न ऑक्सीशन, न बेड हैं। ये लोग जनता को केवल गुमराह कर रहे हैं, इन्होंने निजी टेस्टिंग रोक दी है, लगभग 10-20% टेस्टिंग हो रही है:
मुझे दुख है कि मध्य प्रदेश में कोरोना के इतनी गंभीर स्थिति उत्पन्न हुई है लेकिन इसकी कोई प्लानिंग नहीं थी, आज न दवाई है, न ऑक्सीशन, न बेड हैं। ये लोग जनता को केवल गुमराह कर रहे हैं, इन्होंने निजी टेस्टिंग रोक दी है, लगभग 10-20% टेस्टिंग हो रही है: कमलनाथ, कांग्रेस #COVID19 pic.twitter.com/KJY43gEGn5
— ANI_HindiNews (@AHindinews) April 15, 2021
कहां हैं प्लांट?
कमलनाथ ने कहा कि शिवराज सरकार ने सिंतबर 2020 में 19 ऑक्सीजन के प्लांट लगाने की घोषणा की थी। तब कहा था कि फरवरी तक ये प्लांट शुरु हो जाएंगे। फरवरी 2021 तक ऑक्सीजन की सप्लाई शुरु हो जाएगी। उन्होंने मुख्यमंत्री से पूछा है कि कहां हैं प्लांट?
अंतिम संस्कार के लिए भी जगह नहीं
कमलनाथ ने कहा कि सरकार के पास विजन नहीं है। क्योंकि कोई प्लानिंग नहीं की गई। कोरोना से हो रही मौतों व शवों की संख्या के की सच्चाई और आंकड़े रोजाना मीडिया सामने ला रहा है। उन्होंने कहा कि वास्तविकता यह है कि मुक्तिधाम के बाहर शव पड़े हैं। लकड़ियां नहीं हैं। अंतिम संस्कार के लिए भी जगह नहीं है।