हाइलाइट्स
-
कलेक्टर ने दिया था ई-रिक्शा बिक्री पर रोक लगाने का निर्देश
-
वाहन की बिक्री पर रोक लगाने का अधिकार जीएसटी विभाग को
-
ई-रिक्शा की संख्या ज्यादा होने से यातायात बिगड़ने का था डर
Indore E-Rikshaw: इंदौर की सुरक्षा समिति की अनुशंसा और कलेक्टर के निर्देश पर आरटीओ इंदौर ने ई-रिक्शा बिक्री पर रोक लगाने का निर्देश दिया था।
बता दें, इस पर मप्र हाई कोर्ट की इंदौर खंडपीठ ने आरटीओ द्वारा दिए ई-रिक्शा (Indore E-Rikshaw) बिक्री पर रोक लगाने के आदेश पर रोक लगा दी है।
इसलिए लगाई गई थी बिक्री पर रोक
देश के सबसे स्वच्छ शहर इंदौर में ई-रिक्शा (Indore E-Rikshaw) चालकों द्वारा यातायात नियमों का उल्लंघन और मनमानी करने के चलते ई-रिक्शा की बिक्री के साथ रजिस्ट्रेशन पर रोक लगाई गई थी।
बता दें, यातायात विभाग ने आगामी 2 मार्च से इंदौर के लिए ई रिक्शा के पंजीयन नहीं करने का फैसला किया था।
नहीं किया जा रहा था नियमों पालन
इंदौर में ई-रिक्शा (Indore E-Rikshaw) चालकों द्वारा निर्धारित मार्गों पर संचालन नहीं हो रहा था। इसके साथ ही अव्यवस्थित रूप से वाहन संचालन, क्षमता से अधिक यात्री बैठाने और
यातायात नियमों का उल्लंघन करने से शहर की यातायात व्यवस्था का पालन नहीं हो रहा था।
22 रूट है निर्धारित
शहर में यातायात नियमों के उल्लंघन के चलते जिला सड़क सुरक्षा समिति ने ई-रिक्शा चालकों के लिए शहर में 22 रूट निर्धारित किए थे। लेकिन रिक्शा चालकों द्वारा इन रूटों पर रिक्शा चलाने को लेकर नोटिस जारी करने के बाद आखिरकार परिवहन विभाग ने इंदौर में अब ई रिक्शा चालकों को परमिट नहीं देने के साथ उनके पंजीयन और बिक्री पर भी रोक लगाने का फैसला किया भी लिया था
ई-रिक्शा के पंजीयन पर रोक लगाने का था आदेश
ई-रिक्शा के रजिस्ट्रेशन (E-Rikshaw Registraion) पर रोक लगाने के लिए इंदौर जिला प्रशासन और सड़क सुरक्षा समिति ने क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी इन्दौर को निर्देशित किया था।
वहीं इस संबंध में शासन को प्रस्ताव भेजा जाने की भी बात कही गई थी। इसमें कहा गया था कि प्रस्ताव के क्रियान्वयन हेतु 2 मार्च 2024 के बाद ई-रिक्शा के नवीन पंजीयन पर रोक लग जायेगी।