नई दिल्ली। हाल ही में आपने देखा होगा कि श्रीनगर-लेह हाईवे पर महत्वपूर्ण जैड-मोड़ और जोजिला सुरंग का काम तेजी से चल रहा है। जोजिला टनल को एशिया का सबसे लंबी सुरंग माना जा रहा है, जिसकी लंबाई करीब 14.15 किमी है। हालांकि ये सुरंग सड़क मार्ग के लिए है। लेकिन क्या कभी आपने सोचा है कि रेल मार्ग के लिए सबसे लंबी सुरंग कौन सी है, कितनी लंबी है और कहां है? ज्यादातर लोग इस चीज को नहीं जानते होंगे। तो आइए आज हम आपको बताते हैं कि कौन सी सुरंग है जो रेल मार्ग के लिए सबसे लंबी है।
देश की सबसे लंबी रेलवे सुरंग
भारतीय रेलवे को दुनिया का सबसे शक्तिशाली रेल नेटवर्क ऐसे ही नहीं माना जाता है। रेलवे ने देश में कई ऐसी सुरंगें बनाई हैं जिनसे होकर हमारी लाइफ लाइन गुजरती है। रेलवे ने हिमालय पर्वतमाला में भी कई लंबी-लंबी सुरंगों का निर्माण किया है। देश में मालीगुडा सुरंग सबसे अधिक ऊंचाई पर चौड़ी गेज वाली रेलवे टनल है। वहीं सबसे लंबी सुरंग की बात करें तो करीब 11.2 किमी लंबी पीर पंजाल सुरंग का नाम आता है। यह एशिया की दूसरी सबसे लंबी रेलवे सुरंग है।
इस सुरंग से होकर अगर कोई ट्रेन 60 किमी प्रति घंटे की स्पीड में गुजरती है तो करीब 11 मिनट में टनल को क्रॉस कर जाती है। वहीं 90 की स्पीड से गुजरने वाली ट्रेनें करीब साढ़े 7 मिनट का समय लेती है।
दूसरे नंबर पर कारबुडे सुरंग
पीर पंजाल सुरंग से पहले देश की सबसे लंबी सुरंग के रूप में कारबुडे सुरंग का नाम दर्ज था। महाराष्ट्र में रत्नागिरी के पास कोंकण रेलवे मार्ग पर स्थित कारबुडे सुरंग कह लंबाई 6.5 किमी है। यह रेलवे में नायाब इंजीनियरिंग में से है। उकशी और भोके स्टेशन के बीच स्थित इस सुरंग को अब कोंकण रेलवे लाइन पर सबसे लंबी रेल सुरंग बताया जाता है। कोंकण रेलवे भारत के सबसे खूबसूरत ट्रेन मार्गों में से एक है।
कोंकण रेलवे में कई बड़े-बड़े टनल्स
महाराष्ट्र में ही कोंकण रेलवे की दूसरी सबसे लंबी रेल सुरंग है। करंजाड़ी और दीवान खावती स्टेशन के बीच स्थित नाटूवाड़ी सुरंग की लंबाई 4.3 किमी है। इसका निर्माण 1997 में हुआ था। नाटूवाड़ी के बाद नंबर आता है टाइक सुरंग का, जिसकी लंबाई 4 किमी है। यह सुरंग महाराष्ट्र के पश्चिमी घाट क्षेत्र में, रत्नागिरी और निवासर के बीच है। इतनी ही लंबी एक और सुरंग है। महाराष्ट्र में ही अडवली से विलावडे के बीच 4 किलोमीटर लंबी बेर्देवाड़ी सुरंग भी कोंकण रेलमार्ग का हिस्सा है।
इसके साथ ही अन्य सुरंगें जैसे कि सवार्दे सुरंग, गोवा की बारसीम सुरंग और कर्नाटक की कारवार सुरंग भी कोंकण रेलवे की खूबसूरती बढ़ाती हैं। पश्चिम भारत और उत्तर भारत के अलावा पूर्वोत्तर राज्यों में भी कुछ लंबी रेल सुरंगें हैं।