भोपाल। पति की दीर्घायु के लिए किया जाने वाला हरियाली Hariyali Teej 11 August, 2021 तीज का व्रत इस वर्ष 11 अगस्त को मनाया जाएगा। अखंड सौभाग्य की प्राप्ति के लिए किया जाने वाला यह व्रत कई महिलाएं निर्जला भी रखती हैं। पति की लंबी आयु की कामना और परिवार की सुख-समृद्धि के लिए यह व्रत किय जाता है। हरियाली तीज के मौके पर सुहागिन महिलाएं श्रृंगार कर दिनभर व्रत रखते हुए भगवान शिव और माता पार्वती की पूजा-आराधना और जाप करती हैं। इससे पहले 8 अगस्त को पड़ने वाली हरियाली अमावस पर इस बार विशेष सर्वार्थसिद्धि व रवि पुष्य योग का संयोग बनने जा रहा है। यह व्रत कुंवारी लड़कियां भी अच्छे वर की कामना के साथ करती हैं। ऐसी मान्यता है कि सावन महीने में ही भगवान शिव ने देवी पार्वती की तपस्या से प्रसन्न होकर उन्हें पत्नी रूप में स्वीकार करने का वर दिया था।
पंडित सनत कुमार खम्परिया ने बताया कि हरियाली अमावस्या श्रावण मास में पड़ने वाली अमावस्या को कहते हैं। इसे श्रावणी अमावस्या के नाम से भी जाना जाता है। अमावस्या के दिन पितरों को खुश करने के लिए पिंडदान, तर्पण, श्राद्ध कर्म किए जाते हैं। हरियाली अमावस्या के दिन मुख्यत: पीपल व तुलसी की पूजा की जाती है। यह पर्व हरियाली तीज से तीन दिन पूर्व मनाया जाता है।
इस तरह से करें तीज का पूजन — करवा चौथ की तरह ही यह व्रत भी पति की लंबी आयु की कामना के साथ किया जाता है। यह व्रत करवा चौथ से भी कठिन होता है। इसमें महिलाएं दिनभर निर्जला व्रत रख पूजा करती है फिर अगले दिन उपवास तोड़ती हैं। यह त्योहार भगवान शिव और माता पार्वती के पुनर्मिलन के उपलक्ष्य में मनाया जाता है। हरियाली तीज के दिन विवाहित महिलाओं को सुबह जल्दी उठकर स्नान करके नए कपड़े पहनकर पूजा का संकल्प लेना चाहिए। पूजा स्थल की साफ-सफाई करने के बाद मिट्टी से भगवान—शिव और माता—पार्वती की मूर्ति बनाएं। इसके बाद उन्हें लाल कपड़े के आसन में स्थापित कर पूजा अनुष्ठान आरंभ करें। पूजा की थाली में सुहाग की सभी चीजों को लेकर भगवान शिव और माता पार्वती को अर्पित करें। आखिरी में तीज कथा व आरती करें।
शुभ मुहूर्त — सावन महीने के शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि 10 अगस्त मंगलवार की शाम 6:11 मिनट से शुरू होगी। तृतीया तिथि 11 अगस्त बुधवार को शाम 4:56 पर समाप्त होगी।