Shivraj Singh Chauhan Story: इस कारण से शिवराज सिंह चौहान का नाम पड़ा था ‘पांव-पांव वाले भैया’, फिर से उसी अंदाज में पहुंच रहे हैं लोगों के बीच

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भोपाल। चौथी बार मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री बनने के बाद से ही शिवराज सिंह चौहान (Shivraj Singh Chauhan) एक्शन मोड में हैं। वो लगातार कड़े फैसले ले रहे हैं। साथ ही उनका प्रदेश में लगातार दौरा चल रहा है। बुधवार को उन्होंने इंदौर का दौरा किया है। सबसे खास बात ये है कि वो लोगों से जुड़ने के लिए उनके बीच जा रहे हैं। इंदौर में भी उन्होंने एक दिवसीय प्रवास के दौरान राधाबाई नाम की एक महिला के घर जाकर दोपहर का खाना खाया। इससे पहले भी उन्होंने नए साल के मौके पर एक बुजुर्ग महिला के घर जा कर चाय पी थी और बच्चों को गिफ्ट दिया था। यही कारण है कि प्रदेश के लोगों को फिर से एक बार पांव-पांव वाले भैया की याद आ गई है।
सादगी के लिए जाने जाते हैं
आपको बतादें कि शिवराज सिंह चौहान का लोगों के बीच जाना कोई नई बात नहीं है। वो पहले भी ऐसा करते रहे हैं। यही कारण है कि उन्हें प्रदेश के लोग पांव-पांव वाले भैया तक कहते हैं। मालूम हो कि शिवराज सिंह चौहान प्रदेश में अपनी सादगी के लिए जाने जाते हैं। उन्हें युवा मामा कह कर पुकारते हैं और वो भी अपने संबोधन में युवाओं को भांजा-भांजी कह कर संबोधित करते हैं।
बचपन से ही जुझारू थे
बतादें कि शिवराज सिंह चौहान का मध्य प्रदेश जैसे राज्य के एक छोटे से गांव से निकल कर मुख्यमंत्री बनने तक का सफर इतना आसान नहीं था। उनकी कोई राजनीतिक पृष्ठभूमि नहीं थी। लेकिन कहते हैं ना जहां चाह वहां राह। ठीक उसी प्रकार से शिवराज सिंह चौहान ने भी अपने राजनीतिक राह को खुद ही बनाया। कम उम्र से ही शिवराज ने गरीब मजदूरों की हक के लिए लड़ाई लड़नी शूरू कर दी थी।
ऐसे बने पांव-पांव वाले भैया
शिवराज हमेशा से लोगों के बीच अपनी पहचान बनाना चाहते थे। वो लोगों के दिलों में जगह बनाने के लिए हमेशा क्षेत्र का दौरा किया करते थे। जब वो सांसद बने तो अपने क्षेत्र में गाड़ी के बजाय पदयात्रा किया करते थे। कहा जाता है कि शिवराज सिंह चौहान ने कई बार पैदल ही अपने संसदीय क्षेत्र विदिशा का दौरा किया है। जब वे पहली बार प्रदेश के मुख्यमंत्री बने थे तब भी उन्होंने कई गांवों का दौरा किया था और इसी कारण से उन्हें पहले विदिशा और बाद में पुरे मध्य प्रदेश के लोग पांव-पांव वाले भैया कहने लगे।
शिवराज का राजनीतिक करियर
शिवराज सिंह चौहान मुख्यमंत्री बनने से पहले 5 बार सांसद रह चुके हैं। सबसे पहले विदिशा से 1991 में वे संसद भवन पहुंचे थे। इस सीट को अटल बिहारी वाजपेयी ने छोड़ा था। जिसके बाद भाजपा ने शिवराज को विदिशा से अपना उम्मीदवार बनाया। शिवराज इस सीट से 5 बार सांसद रहे। इतने लंबे समय तक सांसद रहने के साथ ही शिवराज 5वीं बार विधायक भी चुने गए हैं। मुख्यमंत्री के तौर पर ये उनका चौथा कार्यकाल है।