Eid 2022 : इस्लाम धर्म का सबसे बड़ा त्योहार ईद होता है। इस्लामिक कैलेंडर के अनुसार नवां महीना को सबसे पवित्र माना जाता है। इस महीने में इस्लाम मानने वाले लोग पूरे दिन बिना कुछ खाएं रहने के बाद शाम को रोजा खोलते हैं। एक महीने बाद जब चांद नजर आता है उस दिन ईद मनाई जाती है। इस दिन को ईद का चांद भी कहा जाता है। इस ईद को लोग मीठी ईद या सेवईयों वाली ईद भी कहते हैं। इस साल ईद का त्योहार 3 मई को मनाया जाएगा। ईद के दिन लोग अपनी पुरानी दुश्मनी भूलाकर एक-दूसरे से गले मिलते हैं।
कैसे हुई इस त्योहार की शुरुआत
इस्लाम धर्म का पवित्र ग्रंथ कुरान शरीफ के अनुसार रमजान के पूरे महीने रोजे रखने के बाद अल्लाह एक दिन अपने बंदों को खुशियां मनाने के लिए देते हैं। इसलिए इस खास दिन को ईद कहते हैं। ईद के त्योहार को पूरे विश्वभर में हर्षाे उल्लास के साथ मनाया जाता है। मुस्लिम लोग खुदा का शुक्रिया इसलिए करते हैं क्योंकि अल्लाह उन्हें महीने भर उपवास रहने की ताकत देते हैं। कुछ लोगों का मानना है कि रमजान के पवित्र महीने में दान करने से उसका फल दोगुना मिलता है। ऐसे में लोग गरीब और जरूरतमंदों के लिए कुछ रकम दान कर देते हैं।
कब मनाई गई थी पहली ईद
पहली ईद मुहम्मद पैगंबर ने साल 624 में जंग जीतने के खुशी में मनाई थी। पैगंबर हजरत बद्र के युद्ध में विजयी प्राप्त की थी। ईद के दिन सुबह नमाज अदा करने के बाद कुछ दान दिया जाता है। इस दिन लोग नए कपड़े पहनते हैं और अपने दोस्तों और रिश्तेदारों से गले मिलते हैं। रमजान महीने में रोजा रखने का मतलब होता है कि लोगों को भूख प्यास का एहसास हो सके। इस दिन कई तरह के पकवान घर में बनाएं जाते हैं। इस दिन मीठी सेवइयां घर पर आए मेहमानों को खिलाया जाता है। घर आए मेहमानों की विदाई कुछ उपहार देकर की जाती है।