भोपाल। Driving Licence In Bhopal यदि आप ड्रायविंग लायसेंस बनवाना चाहते हैं Bhopal RTO News तो इसके लिए अब आपको टेस्ट देना होगा। MP Hindi इतना ही नहीं इसके लिए पासिंग नंबर भी जरूरी होंगे। इतने नंबर नहीं मिलने पर आपको फेल कर दिया जाएगा। जी हां राजधानी भोपाल में अब ड्रायविंग लायसेंस के लिए होने वाले टेस्ट के लिए ट्रेक तैयार हो चुका है। इसकी टेस्टिंग की गई है। इस परीक्षा के लिए कुछ नंबर भी निर्धारित किए गए हैं।
मंगलवार को हुआ था ट्रैक का टेस्ट —
आरटीओ संजय तिवारी द्वारा दी गई जानकारी के अनुसार मंगलवार को ट्रैक पर लगे सिस्टम का टेस्ट किया गया। इस दौरान दो कैमरे बंद मिले। कंपनी के कर्मचारियों द्वारा इसे ठीक करा दिया गया है। इतना ही नहीं ट्रैक को भी दोबारा दुरुस्त किया जा रहा है। इसके बाद संभावना जताई जा रही है कि यहां पर जल्द ही लाइसेंस के लिए वाहन चालकों को यह टेस्ट देना होगा। यहां पर बना ट्रैक पूरी तरह से ऑटोमैटिक सेंसर पर बेस है। यानि इस ट्रैक पर मैन्युअल कुछ भी नहीं होगा। जिससे इसमें किसी भी प्रकार की धोखाधड़ी की गुंजाइश नहीं रहेगी। साथ ही पूरी तरह पारदर्शी सिस्टम होगा।
यहां देना होगा टेस्ट —
वाहन चालकों को टेस्ट देने के लिए कोकता में एक ऑटोमैटिक ड्राइविंग टेस्टिंग ट्रैक बनाया गया है। जहां वाहन चालक को अंग्रेजी के 8 आकार में बनाए गए ऑटोमैटिक ड्राइविंग टेस्टिंग ट्रैक पर गाड़ी चलाकर टेस्ट देना होगा। यहां पर सेंसर लगाए गए हैं। जिसके आधार पर वाहन चालक को 200 में से नंबर दिए जाएंगे। इसमें पास होने के लिए कम से कम 165 नंबर लाना जरूरी होगा। एडिशनल ट्रांसपोर्ट कमिश्नर अरविंद सक्सेना द्वारा दी गई जानकारी के अनुसार इंदौर के बाद भोपाल में प्रदेश का दूसरा ऑटोमैटिक ड्राइविंग ट्रैक है। ऑटोमैटिक सिस्टम होने से सभी को सहूलियत होगी। अन्य राज्यों के फीडबैक के आधार पर ड्राइविंग टेस्ट के नंबर निर्धारित किए जाते हैं। जहां ट्रैक नया होता है, वहां पर पास होने के लिए नंबर कम रखे जाते हैं। जब आवेदक उसके बारे में अच्छे से समझ जाते हैं, उसके बाद पासिंग नंबरों को बढ़ा दिया जाता है।
इतने एरिया में बना है आरटीओ —
नए आरटीओ को कुछ ही दिनों पहले कोकता में शिफ्ट किया गया है। जिसमें टेस्टिंग के लिए से कोकता में आठ के आकार को ऑटोमैटेड ड्राइविंग टेस्ट ट्रैक बनाया गया है। जिसकी कीमत करीब 3 करोड़ रुपए है। 19 दिसंबर को आरटीओ की ड्राइविंग लाइसेंस शाखा को शिफ्ट किया गया था। जिसमें प्रतिदिन करीब 250 से 300 ड्राइविंग लाइसेंस बनते हैं। नए ट्रेक के बनने के बाद इसमें एक दिन में करीब 150 लोगों की टेस्ट ड्राइव ली जा सकेगी।
इस गलती पर कटेंगे नंबर —
यदि आप भी टेस्ट देने जा रहे हैं तो इसके लिए आपको भी पता होना चाहिए कि आपको कौन सी गलतियों का ध्यान रखना है। यदि कोई आवेदक चार पहिया वाहन से लायसेंस के लिए टेस्ट दे रहा, तो रिवर्स करने पर कुछ बदलाव किए गए हैं। जैसे पहले 6 इंच तक पीछे वाहन के खिसकने पर 20 नंबर कट सकते थे। जबकि अब रिवर्स में एक फीट तक पीछे आने पर नंबर नहीं कटेंगे। शुरुआत में एक वाहन चालक को एक बार में ही ट्रायल के लिए ट्रैक पर भेजा जाएगा। आवेदक के फेल होने की कंडीशन में उसे 10 से 15 दिन के भीतर फिर से एक बार फिर दोबारा मौका दिया जाएगा।