रिपोर्ट- आलोक राय, लखनऊ
CM Yogi Action on Jal Jeevan Mission: उत्तर प्रदेश में जल जीवन मिशन के अंतर्गत चल रहे कार्यों में लापरवाही पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सख्त कदम उठाते हुए 183 अफसरों और कर्मचारियों के खिलाफ बड़ी कार्रवाई की है। यह फैसला न केवल जवाबदेही तय करने की दिशा में एक निर्णायक कदम है, बल्कि यह भी दर्शाता है कि प्रदेश सरकार “हर घर जल” के लक्ष्य को लेकर कितनी गंभीर है।
मुख्यमंत्री ने स्पष्ट संदेश दिया है कि “किसी भी स्तर पर लापरवाही बर्दाश्त नहीं (CM Yogi Action) की जाएगी।” उनका कहना है कि राज्य की जनता को समय पर, गुणवत्तापूर्ण और शुद्ध पेयजल मुहैया कराना सरकार की प्राथमिकता है, और इसमें किसी भी प्रकार की लापरवाही करने वालों को बख्शा नहीं जाएगा।
183 अधिकारियों-कर्मचारियों पर गिरी गाज
मुख्यमंत्री कार्यालय से मिली जानकारी के मुताबिक अब तक 183 अधिकारियों व कर्मचारियों पर कार्रवाई की जा चुकी है। इनमें 6 अफसरों को निलंबित कर दिया गया है, जबकि 122 के खिलाफ अनुशासनिक जांच के आदेश दिए गए हैं। 55 अधिकारियों को प्रतिकूल प्रविष्टि दी गई है, जो उनके करियर पर सीधा असर डालेगी।
7 मुख्य अभियंताओं में से 4 को प्रतिकूल प्रविष्टि मिली है, और 3 पर जांच चल रही है। वहीं 59 अधिशासी अभियंताओं में से 44 को चेतावनी मिली है और 4 को निलंबित किया गया है। इसी तरह 32 सहायक अभियंताओं पर भी कार्रवाई हुई है जिसमें 2 को निलंबन का सामना करना पड़ा है। साथ ही 19 अवर अभियंताओं के खिलाफ अनुशासनिक जांच शुरू की गई है।
जल जीवन मिशन में उत्तर प्रदेश बना देश का अग्रणी राज्य
उत्तर प्रदेश न केवल जल जीवन मिशन के तहत सबसे अधिक नल कनेक्शन देने वाला राज्य बन चुका है, बल्कि इसने समयबद्ध और गुणवत्ता युक्त जल आपूर्ति के लक्ष्य में भी राष्ट्रीय स्तर पर मिसाल कायम की है। गांव-गांव, घर-घर तक पाइपलाइन से शुद्ध पेयजल पहुंचाने के लिए सरकार ने तकनीकी व प्रशासनिक दोनों स्तरों पर सख्ती से निगरानी शुरू कर दी है।
जनता को लाभ, अफसरों को जिम्मेदारी का अहसास
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का यह कदम न केवल सरकारी जवाबदेही को मजबूत करता है, बल्कि जनता में यह भरोसा भी बढ़ाता है कि उनकी बुनियादी जरूरतों को लेकर सरकार गंभीर है। ग्रामीण और शहरी इलाकों में जल संकट के समाधान की दिशा में यह मिशन (CM Yogi Action) एक बड़ी भूमिका निभा रहा है, और इसी कारण किसी भी स्तर की ढिलाई अब सीधे कार्यवाही की ओर ले जाएगी।
पारदर्शिता और जवाबदेही के साथ आगे बढ़ रहा है मिशन
जल जीवन मिशन को पारदर्शिता, गुणवत्ता और समयबद्धता के आधार पर आगे बढ़ाया जा रहा है। मुख्यमंत्री ने साफ किया है कि आगे भी नियमित समीक्षा होती रहेगी और लापरवाही पाए जाने पर कार्रवाई जारी रहेगी। सरकार का लक्ष्य है कि हर परिवार तक शुद्ध पेयजल पहुंचे और इसके लिए हर विभाग, हर अधिकारी की सक्रिय भागीदारी जरूरी है।
ये भी पढ़ें: Summer Camp 2025: मेरठ के स्कूलों में बच्चों को खेल-खेल में सिखाया जाएगा लाइफ स्किल, डीएम ने जारी किया दिशा-निर्दश