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छत्तीसगढ़ NHM कर्मचारी 15 अप्रैल को सामूहिक छुट्टी पर: नियमितीकरण समेत कई मांगों को लेकर करेंगे आवाज बुलंद, पढ़ें खबर

CG NHM Employees Demand: छत्तीसगढ़ NHM कर्मचारी 15 अप्रैल को सामूहिक छुट्टी पर, नियमितीकरण समेत कई मांगों को लेकर करेंगे आवाज बुलंद, पढ़ें खबर

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Harsh Verma
CG NHM Employees Demand

CG NHM Employees Demand: छत्तीसगढ़ के राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन (एनएचएम) में काम करने वाले सभी संविदा कर्मचारियों ने आगामी 15 अप्रैल को एक साथ छुट्टी पर रहने का फैसला किया है। यह सामूहिक अवकाश बिलासपुर में आयोजित होने वाले एक बड़े सम्मेलन में भाग लेने के लिए लिया जा रहा है।

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दरअसल, 15 अप्रैल को राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन (एनएचएम) छत्तीसगढ़ में अपने 20 साल पूरे कर रहा है, और इस मौके पर एक राज्य स्तरीय महासम्मेलन का आयोजन किया गया है। यह सम्मेलन बिलासपुर के स्व. लखीराम अग्रवाल ऑडिटोरियम में होगा।

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प्रदेश के स्वास्थ्य मंत्री समेत कई बड़े नेता होंगे शामिल

स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल ने स्वशासी सोसायटी के कार्यों के  बेहतर संपादन के लिए ई संपादन पोर्टल का किया शुभारंभ

एनएचएम कर्मचारी संघ के प्रांताध्यक्ष डॉ. अमित मिरी और प्रदेश महासचिव कौशलेस तिवारी ने इस बारे में जानकारी देते हुए बताया कि इस महत्वपूर्ण सम्मेलन में प्रदेश के स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल, पूर्व स्वास्थ्य एवं वित्त मंत्री अमर अग्रवाल, और कई अन्य बड़े नेता और सरकारी अधिकारी भी शामिल होंगे।

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डॉ. मिरी ने कहा, "यह सम्मेलन हमारे अधिकारों के लिए हमारी एकता का प्रतीक है। सभी कर्मचारी एक साथ छुट्टी लेकर बिलासपुर पहुंचेंगे और सरकार को अपनी एकजुट शक्ति दिखाएंगे।"

लंबी सेवा के बाद भी नियमित कर्मचारी का दर्जा नहीं मिला

एनएचएम कर्मचारियों का कहना है कि वे पिछले दो दशकों से प्रदेश की स्वास्थ्य सेवाओं की नींव बनकर काम कर रहे हैं। चाहे गांव हों या शहर, हर जगह एनएचएम कर्मचारियों ने लोगों को बेहतर स्वास्थ्य सेवाएं पहुंचाने में महत्वपूर्ण योगदान दिया है।

लेकिन दुख की बात यह है कि इतनी लंबी सेवा के बाद भी उन्हें आज तक नियमित कर्मचारी का दर्जा नहीं मिल पाया है। इसके साथ ही, उन्हें ग्रेड-पे (grade-pay), पेंशन (pension), अनुकंपा नियुक्ति (compassionate appointment) और चिकित्सा अवकाश (medical leave) जैसी जरूरी सुविधाएं भी नहीं मिल रही हैं।

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कोरोना महामारी के मुश्किल समय को भी दिलाया याद 

कर्मचारियों ने कोरोना महामारी के मुश्किल समय को भी याद दिलाया। उन्होंने बताया कि उस दौरान उन्होंने अपनी जान जोखिम में डालकर लोगों की सेवा की थी। लेकिन इतनी मेहनत और समर्पण के बावजूद, सरकार ने उनकी मांगों पर कोई ध्यान नहीं दिया।

अब इस महासम्मेलन के जरिए वे एक बार फिर सरकार का ध्यान अपनी बरसों से लंबित मांगों की ओर खींचना चाहते हैं।

12 अप्रैल 2005 को शुरू हुआ था राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन

नेशनल रूरल हेल्थ मिशन (एनआरएचएम) - Presentation Gov

राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन (एनएचएम), जिसे भारत सरकार ने 12 अप्रैल 2005 को शुरू किया था, का उद्देश्य देश भर में ग्रामीण और शहरी स्वास्थ्य सुविधाओं को बेहतर बनाना था। इन 20 सालों में एनएचएम ने निश्चित रूप से आम लोगों को बेहतर स्वास्थ्य सेवाएं दिलाने में बड़ी भूमिका निभाई है।

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लेकिन इस मिशन को सफल बनाने वाले कर्मचारी आज भी अपने हक के लिए संघर्ष कर रहे हैं। यह देखना होगा कि इस बड़े सम्मेलन के बाद सरकार उनकी मांगों पर कितना ध्यान देती है। कर्मचारियों को उम्मीद है कि उनकी यह एकजुट आवाज सरकार तक जरूर पहुंचेगी और उन्हें न्याय मिलेगा।

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