CM Sai Bijapur Visit: बीजापुर (Bijapur)। कर्रेगुट्टा (Karregutta) की पहाड़ियों पर हाल ही में हुए सफल एंटी नक्सल ऑपरेशन (Anti-Naxal Operation) के बाद आज मुख्यमंत्री विष्णु देव साय (CM Vishnu Deo Sai) बीजापुर के गलगम (Galgam) पहुंचे।
यहां उन्होंने सुरक्षा बलों के जवानों से सीधे संवाद कर उन्हें उनके साहस और समर्पण के लिए धन्यवाद दिया। हेलिपैड पर मुख्यमंत्री का स्वागत जिला प्रशासन, पुलिस और केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (CRPF) के अधिकारियों ने किया।
मुख्यमंत्री के साथ मुख्य सचिव अमिताभ जैन (Chief Secretary Amitabh Jain) और प्रमुख सचिव सुबोध सिंह (Principal Secretary Subodh Singh) भी मौजूद थे। सीएम साय ने “भारत माता” और “छत्तीसगढ़ महतारी” के जयकारों के साथ संवाद की शुरुआत की।
मार्च 2026 तक छत्तीसगढ़ को नक्सल मुक्त करने का लक्ष्य
मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार का लक्ष्य मार्च 2026 तक छत्तीसगढ़ को पूरी तरह से नक्सल मुक्त (Naxal-Free) करना है। उन्होंने कहा कि जवानों के अदम्य साहस, बलिदान और समर्पण से यह सपना साकार होगा। उन्होंने जोर देकर कहा कि बस्तर (Bastar) क्षेत्र में नियद नेल्ला नार जैसी स्थानीय भागीदारी की पहल ने लोगों को प्रशासन से जोड़ने में बड़ी भूमिका निभाई है।
44 डिग्री तापमान में भी ऑपरेशन कर रहे बहादुर
सीएम साय ने जवानों की बहादुरी की खुलकर तारीफ की। उन्होंने कहा, “हमारी सरकार को अभी डेढ़ साल ही हुए हैं, लेकिन हमने इस दौरान बेहतर सुशासन की नींव रखी है। मैं खुद डीजीपी (DGP) गौतम से लगातार बात करता हूं और बस्तर के हालात की जानकारी लेता हूं। आप लोग 44 डिग्री की भीषण गर्मी में भी ऑपरेशन को अंजाम देते हैं, यह अत्यंत प्रशंसनीय है।”
सुरक्षा कैम्प नहीं, अब ‘सुविधा कैम्प’ बन चुके हैं ये केंद्र
मुख्यमंत्री ने बताया कि सुरक्षा कैम्प (Security Camps) अब केवल सुरक्षा तक सीमित नहीं हैं, बल्कि ये सुदूर बस्तर के गांवों में सुविधाएं पहुंचाने का माध्यम बन चुके हैं। उन्होंने कहा कि सरकार बनने के बाद पहला सुरक्षा कैम्प मूलेर (Mooler) में खोला गया था और आज वहां बिजली, राशन, स्वास्थ्य, स्कूल और मोबाइल टॉवर जैसी सुविधाएं मिल रही हैं।
उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) और गृहमंत्री अमित शाह (Home Minister Amit Shah) के नेतृत्व में नक्सल मोर्चे पर मिल रही सफलताओं का उल्लेख भी किया।
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