Chhattisgarh News: छत्तीसगढ़ की विष्णुदेव साय की सरकार ने केंद्रीय जांच एजेंसी CBI (Central Bureau of Investigation) के लिए सीमाएं तय की हैं। इसके तहत अब सीबीआई को प्रदेश में केंद्र सरकार और केंद्रीय सार्वजनिक उपक्रमों में कार्रवाई की खुली छूट है, लेकिन राज्य सरकार के अंतर्गत काम करने वाले कर्मचारियों और अधिकारियों पर कार्रवाई के लिए अनुमति लेनी (Chhattisgarh News) होगी।
सीबीआई कर रही इन स्टेट मामलों की जांच
जानकारी के मुताबिक छत्तीसगढ़ में PSC घोटाले की जांच CBI कर रही है। इसमें जिन अफसरों पर गलत ढंग से नौकरी हासिल करने का आरोप है वो स्टेट सर्विस के तहत ही आते हैं। CGPSC घोटाले की CBI जांच करवाना मौजूदा भाजपा सरकार का बड़ा चुनावी वादा था। CBI इस मामले की जांच कर भी रही है मगर अब स्टेट सर्विस के अफसरों तक पहुंचने से पहले CBI को प्रदेश सरकार से मंजूरी लेना (Chhattisgarh News) होगी।
प्रदेश सरकार ने यह निकाला नोटिफिकेशन
CBI की लिमिटेशंस को लेकर प्रदेश गृह विभाग ने एक गजट नोटिफिकेशन जारी किया है। इसमें कहा गया है कि दिल्ली विशेष पुलिस स्थापना अधिनियम, 1946 (क्र. 25 सन् 1946) की धारा 6 के अनुसरण मे, समय-समय पर संशोधित उक्त अधिनियम की धारा 3 के अधीन अधिसूचित अपराध या अपराधों की श्रेणियों, जो कि कथित तौर पर केंद्र सरकार, केंद्रीय सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रमों के कर्मचारियों और निजी व्यक्तियों द्वारा किए गए हैं (चाहे वे अलग से काम कर रहे हों या केंद्र सरकार / केंद्र सरकार के उपक्रम के कर्मचारियों के साथ मिलकर काम कर रहे हों), के अन्वेषण के लिए संपूर्ण छत्तीसगढ़ राज्य में दिल्ली विशेष पुलिस स्थापना के सदस्यों की शक्तियों और अधिकार क्षेत्र के विस्तार के लिए अपनी सहमति देती (Chhattisgarh News) है।
यह सहमति इस शर्त के अधीन है कि छत्तीसगढ़ राज्य सरकार द्वारा नियंत्रित लोक सेवकों से संबंधित मामलों में, राज्य सरकार की पूर्व लिखित अनुमति के बिना ऐसा कोई इंवेस्टीगेशन नहीं किया जाएगा। किसी अन्य अपराध के लिए मामले-दर-मामले के आधार पर दी गई सहमति भी प्रवृत्त रहेंगी
भूपेश सरकार ने CBI पर लगाया था बैन
भूपेश बघेल की कांग्रेस सरकार ने 2019 में जनरल कन्सेंट वापस लिया और छत्तीसगढ़ में 2018 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस को बहुमत मिला और राज्य में 15 साल बाद कांग्रेस की सरकार बनी थी। इसके कुछ ही दिन बाद सरकार ने जनवरी 2019 में राज्य में CBI जांच पर रोक लगा दी थी यानी बिना सरकार की अनुमति के सीबीआई की एंट्री राज्य में किसी भी तरह की जांच में नहीं होगी।
तत्कालीन मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा था कि एनडीए सरकार में सीबीआई की विश्वसनीयता पर सवाल खड़ा हो गया है। राज्य के कर्मचारियों और अफसरों को परेशान किया जा रहा है। इसलिए हमें यह फैसला लेना (Chhattisgarh News) पड़ा।
इन मामलों में सीबीआई ने की जांच
छत्तीसगढ़ ने 2001 में राज्य में CBI को जांच की अनुमति दी थी। तब से लेकर 2018 तक सीबीआई ने राज्य के कई बड़े मामलों की जांच की है। जिनमें रामावतार जग्गी हत्याकांड, बिलासपुर के पत्रकार सुशील पाठक और गरियाबंद के छुरा के उमेश राजपूत हत्या, एसईसीएल कोल घोटाला, IAS बीएल अग्रवाल रिश्वत कांड, भिलाई का मैगनीज कांड और कथित सीडी कांड शामिल (Chhattisgarh News) है।
साय सरकार ने सत्ता में आते ही CBI से बैन हटाया था
मार्च 2024 में छत्तीसगढ़ की विष्णुदेव साय सरकार ने प्रदेश में सीबीआई की एंट्री पर लगे प्रतिबंध को हटा दिया। इसे लेकर गृह विभाग ने अधिसूचना जारी कर दी थी। राज्य सरकार ने पूर्व भूपेश सरकार के आदेश को शिथिल करते हुए यह आदेश जारी किया था । तब छत्तीसगढ़ सरकार के गृह विभाग ने राज्य में सीबीआई की तरफ से की जाने वाली जांच और रिसर्च के लिए पूर्व सीएम भूपेश के केंद्र को भेजे पत्र का वापस ले लिया था। जिसमें सीबीआई जांच की अधिकारिता के संबंध में जिक्र किया गया (Chhattisgarh News) था।
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